Shaheen Bagh CAA NRC protest: शाहीन बाग में सीएए विरोधी प्रदर्शनकारियों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को शुक्रवार को वहां आने और उनके साथ वेलेंटाइन डे मनाने का न्योता दिया है। संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) और प्रस्तावित एनआरसी को वापस लिए जाने की मांग को लेकर पिछले साल 15 दिसंबर से विरोध कर रहे प्रदर्शनकारी मोदी के लिए ‘प्यार वाला एक गीत’ और एक ‘सरप्राइज गिफ्ट’ भी पेश करेंगे।
प्रदर्शन स्थल पर इसके पोस्टर लगाए गए हैं और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर भी इसे प्रसारित किया गया है । इसमें लिखा है, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी, कृपया शाहीन बाग आएं, अपना गिफ्ट ग्रहण करें और हमसे बात करें।’’ शाहीन बाग में एक प्रदर्शनकारी तासीर अहमद ने पीटीआई से कहा, ‘‘चाहें, प्रधानमंत्री मोदी या गृहमंत्री अमित शाह आएं या कोई और, वे आ सकते हैं और हमसे बात करें। अगर वह हमें समझा देंगे कि जो भी हो रहा है वो संविधान के खिलाफ नहीं है तो हम अपना यह प्रदर्शन खत्म कर लेंगे।’’
उन्होंने कहा कि सरकार के दावे के मुताबिक सीएए ‘नागरिकता देगा ना कि किसी की नागरिकता लेगा’ लेकिन कोई भी ये नहीं बता रहा कि यह देश के लिए मददगार कैसे होगा। अहमद ने कहा, “सीएए बेरोजगारी, गरीबी और आर्थिक मंदी के मुद्दों से निपटने में हमारी मदद करेगा।”
दिसंबर में देश में राष्ट्रीय राजधानी और अन्य जगहों पर शाहीन बाग, जाकिर नगर, जामिया नगर, खुरेजी खास और अन्य जगहों पर सीएए और एनआरसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन हुए। शाहीन बाग में प्रदर्शनकारी कालिंदी कुंज पुल के माध्यम से नोएडा को दक्षिण-पूर्वी दिल्ली से जोड़ने वाले एक मुख्य मार्ग पर टेंट लगाकर डटे हुए हैं। एक आधिकारिक अनुमान के अनुसार इसका असर प्रतिदिन लगभग 1.75 लाख वाहनों की आवाजाही पर हो रहा है।
#ShaheenBaghOutreach | First the Law Minister said that and now Home Minister is saying the same thing but have they sent a concerned person yet?: Yunus Khan (Shaheen Bagh Protestor) tells @maryashakil on #NewsEpicentre. pic.twitter.com/SBrJAZ8LGn
— News18 (@CNNnews18) February 13, 2020
वहीं दिल्ली चुनाव नतीजे के बाद टाइम्स नाउ के एक कार्यक्रम में अमित शाह ने कहा कि जो कोई भी उनके साथ सीएए से जुड़े मुद्दों पर चर्चा करना चाहता है वह उनके कार्यालय से समय ले सकता है। उन्होंने कहा, ‘‘(हम) तीन दिनों के अंदर समय देंगे।’’
सीएए का बचाव करते हुए गृह मंत्री ने कहा कि नये कानून में इस तरह का कोई प्रावधान नहीं है कि इससे मुस्लिमों की नागरिकता छीन जाएगी। कानून में पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान के गैर मुस्लिमों को भारतीय नागरिकता देने का प्रावधान है।
उन्होंने कहा, ‘‘धर्म के आधार पर हमने कभी किसी से भेदभाव नहीं किया। सीएए में ऐसा कोई प्रावधान नहीं है कि मुस्लिमों की नागरिकता खत्म कर दी जाएगी। सीएए की केवल आलोचना मत कीजिए बल्कि इसके गुण-दोष के आधार पर चर्चा कीजिए। सीएए न तो मुस्लिम विरोधी है न ही अल्पसंख्यक विरोधी। मैं किसी से भी मिलने के लिए तैयार हूं लेकिन चर्चा गुण-दोष के आधार पर हो। दुर्भाग्य से कोई भी आगे आकर सीएए पर चर्चा नहीं करना चाहता है।’’ (भाषा इनपुट के साथ)