पश्चिम बंगाल के नॉर्थ 24 परगना में संदेशखाली हिंसा का विवाद राष्ट्रीय विमर्श का विषय बन गया है। इसको लेकर बीजेपी राज्य की ममता सरकार पर गंभीर आरोप लगा रही है। इस बीच संसदीय समिति ने पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव और अन्य अधिकारियों को नोटिस भेजा था। इसको लेकर ममता सरकार ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था लेकिन आज सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में संसदीय समिति पर रोक लगा दी है।

सुप्रीम कोर्ट में ममता सरकार ने संसदीय आचार समिति के नोटिस के खिलाफ एक याचिका दायर की थी। इस मामले की सुनवाई में ममता सरकार की ओर से सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल पेश हुए। सिब्बल ने कहा कि राजनीतिक गतिविधियां विशेषाधिकार का हिस्सा नहीं कर सकती है। गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव और डीजीप समेत कई अधिकारियों को लोकसभा की विशेषाधिकार समिति ने नोटिस भेजा था। खास बात यह है कि संसदीय समिति का ये नोटिस सुकांत मजूमदार की शिकायत पर जारी किया गया था।

संदेशखाली में महिलाओं ने टीएमसी के कुछ स्थानीय नेताओं पर आरोप लगाया था। इसके बाद पश्चिम बंगाल बीजेपी अध्यक्ष संदेशखाली जाना चाहते थे लेकिन प्रशासन ने उन्हें रोक दिया था और विरोध प्रदर्शन के दौरान वे घायल हो गए थे। उन्हें अस्पताल तक में भर्ती होना पड़ा था। ऐसे में सुकांत ने संसदीय समिति के पास शिकायत दर्ज कराई थी और अब सुप्रीम कोर्ट ने 4 हफ्ते बाद सुनवाई होगी। इसके साथ ही कोर्ट ने लोकसभा सचिवालय, विशेषाधिकार समिति, सुकांत मजूमदार को नोटिस जारी किया है और 4 हफ्ते में जवाब देने का आदेश दिया है।

सीबीआई जांच की भी उठी है मांग

ममता सरकार की तरफ से कोर्ट में पेश हुए वकील कपिल सिब्बल ने विशेषाधिकार समिति के नोटिस को राजनीतिक गतिविधियों से संबंधित बताया था। वहीं अभी सुप्रीम कोर्ट को आज ही संदेशखाली में महिलाओं के उत्पीड़न को लेकर दायर याचिका पर भी सुनवाई करनी है। इसमें मांग की गई है कि संदेशखाली में हुए पूरे घटनाक्रम की जांच पश्चिम बंगाल में नहीं बल्कि राज्य से बाहर से होनी चाहिए, और जांच सीबीआई को सौंपी जानी चाहिए।

NCW अध्यक्ष जा रहीं संदेशखाली

बता दें कि पश्चिम बंगाल से लेकर दिल्ली तक में संदेशखाली विवाद के चलते सियासी पारा बढ़ रहा है। आज राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा भी संदेशखाली पहुंच रही हैं और इस दौरान वह वहां की पीड़ित महिलाओं से भी मुलाकात करने वाली हैं। इसके बाद वे राज्यपाल से भी मुलाकात करेंगी। दूसरी ओर लगातार महिलाएं संदेशखाली में प्रदर्शन करते हुए इंसाफ मांग रही हैं, जिसके चलते इलाके के चप्पे चप्पे पर पुलिस का पहरा है।