कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सचिन पायलट ने भाजपा के आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय के एक दावे को सिरे से खारिज करते हुए उनका जवाब दिया है। दरअसल अमित मालवीय ने X (Twitter) पर सचिन पायलट के पिता राजेश पायलट को लेकर दावा करते हुए लिखा था कि राजेश पायलट ने मार्च 1966 में मिजोरम में वायु सेना के पायलट के रूप में बम गिराए थे।
सचिन पायलट ने इसका जवाब देते हुए लिखा कि अमित मालवीय के ट्वीट में तथ्य और तारीखें गलत हैं। क्योंकि राजेश पायलट को उसी वर्ष अक्टूबर में बल में नियुक्त किया गया था। सचिन पायलट ने लिखा,”हाँ, 80 के दशक में एक राजनेता के रूप में मिज़ोरम में युद्ध विराम करवाने और स्थाई शांति संधि स्थापित करवाने में उन्होंने महत्वपूर्ण भूमिका ज़रूर निभाई थी।”
क्या लिखा था अमित मालवीय ने?
X (Twitter) पर एक पोस्ट में अमित मालवीय ने दावा किया था कि राजेश पायलट और सुरेश कलमाडी भारतीय वायु सेना के विमानों को उड़ा रहे थे और उन्होंने 5 मार्च, 1966 को मिजोरम की राजधानी आइजोल पर बमबारी की थी।
मालवीय ने लिखा, ”बाद में दोनों कांग्रेस के टिकट पर सांसद और सरकार में मंत्री बने। यह स्पष्ट है कि इंदिरा गांधी ने पुरस्कार के रूप में राजनीति में उन्हें जगह दी, पूर्वोत्तर में अपने ही लोगों पर हवाई हमले करने वालों को सम्मान दिया।”
सचिन पायलट का जवाब
बीजेपी नेता पर निशाना साधते हुए सचिन पायलट ने X (Twitter) पर लिखा, “हां, भारतीय वायु सेना के पायलट के रूप में मेरे दिवंगत पिता ने बम गिराए थे। लेकिन वह 1971 के भारत-पाकिस्तान युद्ध के दौरान, वो भी तत्कालीन पूर्वी पाकिस्तान पर। न कि जैसा कि आप दावा कर रहे 5 मार्च 1966 को मिजोरम पर। पायलट ने अपने पिता राजेश पायलट के 29 अक्टूबर 1966 को भारतीय वायु सेना में भर्ती होने का सबूत भी X (Twitter) पर साझा किया।
पीएम मोदी ने संसद में दिया था इस मुद्दे से जुड़ा बयान
10 अगस्त को संसद में पीएम नरेंद्र मोदी ने इस मुद्दे पर अपनी बात रखते हुए कहा था, “5 मार्च 1966 को मिजोरम में असहाय नागरिकों पर कांग्रेस ने अपनी वायुसेना से हमला करवाया था. कांग्रेस को जवाब देना चाहिए कि क्या ये किसी दूसरे देश की वायुसेना थी, मिजोरम के लोग मेरे देश के नागरिक नहीं? क्या उनकी सुरक्षा भारत सरकार की ज़िम्मेदारी नहीं थी?” प्रधानमंत्री ने कहा कि आज भी पूरा मिजोरम हर साल 5 मार्च को शोक मनाता है।