रिपब्लिक भारत पर डिबेट के दौरान एंकर अर्णब गोस्वामी कहने लगे कि मेरी हाथ जोड़कर एक अपील सुन लीजिए आप लोग। पालघर के साधुओं के साथ अन्याय जो साल भर पहले हुआ था, पालघर मामले को कवर करने के लिए मेरे ऊपर तेजाब से हमला किया गया। सुशांत मामले को लेकर हमको यातनाएं दी गईं। हमारे राष्ट्रवादी नेटवर्क को बंद करने की कोशिश की गई। आज फिर से प्रण लीजिए कि ये लड़ाई फिर से शुरू हो। ये सुनकर कुछ पैनलिस्ट जहां ताली बजाने लगे तो कुछ मुस्कुराते रहे।

बता दें कि अक्टूबर 2020 में, मुंबई पुलिस ने शिकायत के आधार पर टीआरपी हेरफेर की जांच शुरू की थी। शिकायत में आरोप लगाया गया था कि ब्रॉडकास्ट ऑडियंस रिसर्च काउंसिल के पूर्व सीईओ पार्थो दासगुप्ता सहित कई लोगों ने टीआरपी घोटाले को अंजाम दिया था। जिन चैनलों के खिलाफ इस तरह के आरोप लगाए गए थे उनमें से एक रिपब्लिक टीवी था, जिसमें गोस्वामी के खिलाफ विशेष आरोप थे।

जांच के दौरान, मुंबई पुलिस के अधिकारियों ने पार्थ दासगुप्ता से संबंधित एक फोन जब्त किया, और दासगुप्ता और गोस्वामी के बीच हुई व्हाट्सएप चैट सार्वजनिक की । इन चैट में कथित तौर पर टीआरपी में हेराफेरी के संकेत थे, साथ ही इस बात के सबूत भी थे कि गोस्वामी के पास विशेषाधिकार प्राप्त जानकारी तक पहुंच थी और उन्होंने दासगुप्ता की ओर से नियामक और सरकारी अधिकारियों के साथ हस्तक्षेप किया था।

इन संदेशों के लीक होने से गोस्वामी और दासगुप्ता की व्यापक निंदा हुई। न्यूज ब्रॉडकास्टर्स एसोसिएशन ने सार्वजनिक रूप से इंडियन ब्रॉडकास्टिंग फाउंडेशन से रिपब्लिक टीवी के निष्कासन का आह्वान किया था।  इन लीक चैट के आधार पर, गोस्वामी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की बात भी की गई क्योंकि चैट से पता चल रहा था कि 2019 बालाकोट हवाई हमले से पहले ही अर्णब को इसकी जानकारी थी और उन्होंने यह दासगुप्ता के साथ साझा की थी।

20 जनवरी 2021 को, महाराष्ट्र के गृह मंत्री अनिल देशमुख ने कहा कि वह आधिकारिक गोपनीयता अधिनियम का उल्लंघन करने के लिए गोस्वामी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू करने पर विचार कर रहे हैं। 27 जनवरी 2021 को, कांग्रेस नेताओं ने मुंबई में गोस्वामी के खिलाफ आधिकारिक गोपनीयता अधिनियम के उल्लंघन का आरोप लगाते हुए एक आपराधिक शिकायत दर्ज की थी।