राम दास अठावले ने अमेरिका जाकर वहां के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से मिलने की इच्छा जाहिर की है। अठावले को अप्रैल के दूसरे हफ्ते में यूएस जाना है। वहां पर अठावले को यूएन के एक कार्यक्रम में बोलने के लिए बुलाया गया है। अठावले वहां पर भीम राव अंबेडकर के 126वीं जन्मदिन के मौके पर अपने विचार रखेंगे। अठावले चाहते हैं कि उसी ट्रिप के दौरान उनकी मुलाकात डोनाल्ड ट्रंप से भी हो जाए। यूएस का राष्ट्रपति भारत के सांसद से क्यों मिलेंगे? अठावले के पास इस सवाल का भी जवाब है। उन्होंने कहा कि ट्रंप रिपब्लिकन पार्टी से हैं और वह रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया के प्रमुख हैं इससे उन दोनों के बीच एक मीटिंग जरूर होनी चाहिए।
डोनाल्ड ट्रंप ने पिछले साल अमेरिका के राष्ट्रपति पद का चुनाव जीता। उन्होंने डेमोक्रेटिक पार्टी की उम्मीदवार हिलेरी क्लिंटन को हराया था। हिलेरी बराक ओबामा का समर्थन मिलने के बावजूद नहीं जीत सकीं। ट्रंप ने इस साल राष्ट्रपति पद की शपथ ली है। वह मुसलमानों और शरणार्थियों के खिलाफ दिए गए बयानों के बल पर जीते थे। भारत में भी कई हिंदू संगठन उनको अपना ‘नेता’ मानते हैं।
राम दास अठावले भाजपा की सहयोगी पार्टी रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया के अध्यक्ष हैं। वह राज्यसभा सांसद और सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय में राज्य मंत्री हैं। अठावले अपने बयानों को लेकर पहले भी चर्चा में रहे हैं।
आरक्षण, कश्मीर, गौमांस पर वह अपनी राय रखते रहे हैं। बीफ के मुद्दे पर तो वह भाजपा सांसद उदित राज से भी भीड़ गए थे। तब दलित नेता उदित राज ने बीफ खाने का समर्थन करने के लिए सबसे तेज धावक उसैन बोल्ट का जिक्र किया था। उसपर अठावले ने कहा था कि वह तो बीफ नहीं खाते लेकिन मंत्री बन गए।