भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने कहा है कि यह लड़ाई जमीन बचाने की है। साथ ही उन्होंने कहा कि अगर किसानों को जमीन और किसानी बचानी है तो उन्हें लुटेरों के खिलाफ लड़ाई लड़नी ही होगी। रोटी बाजार की वस्तु न बने रोटी तिजोरी में न कैद हो ये उसकी लड़ाई है। यह महंगाई के खिलाफ आंदोलन है, ये सबका आंदोलन है।

पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने कहा कि जब तक एमएसपी पर कानून नहीं बनेगा, तीन बिल वापस नहीं होंगे, तब तक यह आंदोलन जारी रहेगा। राकेश टिकैत ने कहा कि संयुक्त मोर्चा के 40 लोगों के साथ सरकार बातचीत करें और बिल वापस लें। किसान नेता ने कहा कि आप सरकार से लड़ाई लड़ सकते हैं व्यापारी से लड़ाई नहीं लड़ सकते हैं। ये लुटेरें हैं इन्हें देश से भगाने पड़ेंगे।

अब होगी हल क्रांति : हाल ही में उन्होंने कहा था कि अगर कृषि कानून वापस नहीं हुए तो अबकी बार हल क्रांति होगी। किसान पार्लियामेंट में जाकर ट्रैक्टर चलाएंगे। राकेश टिकैत ने कहा था कि किसानों के पास ट्रैक्टर है तो हम ट्रैक्टर चलाएंगे। हमारे पास एसी बस तो है नहीं। इससे पहले राजस्थान के सीकर में उन्होंने कहा था कि कान खोल कर सुन ले दिल्ली, ये किसान भी वही हैं और ट्रैक्टर भी वही होंगे। इस बार चार लाख नहीं चालीस लाख ट्रैक्टर जाएंगे।

किसानों को है देश से प्यार: राकेश टिकैत ने कहा था कि 26 जनवरी की घटना के मामले में देश के किसानों को बदनाम करने की साजिश की गई थी। देश के किसानों को तिरंगे से प्यार है, लेकिन इस देश के नेताओं को नहीं है। टिकैत ने कहा था कि सरकार को किसानों की तरफ से खुली चुनौती है कि सरकार ने तीनों कृषि कानून वापस नहीं लिए तो बड़ी-बड़ी कंपनियों के गोदाम को घ्वस्त करने का काम किसान करेंगे।

पूरे देश का करेंगे दौरा: राकेश टिकैत ने कहा है कि वो किसानों को एक करने के लिए पूरे देश का दौरा करेंगे। आने वाले दिनों में वो कर्नाटक जा रहे हैं उसके बाद तेलंगाना भी जाएंगे। उन्होंने कहा कि जब देश एक है आनाजों का दाम एक है तो क्यों नहीं पूरे देश में जाएंगे?