राज्यसभा चुनाव से पहले कांग्रेस ने मल्लिकार्जुन खड़गे को महाराष्ट्र के लिए ऑब्जर्वर नियुक्त किया है। इसके अलावा पवन कुमार बंसल और टीएस सिंहदेव को राजस्थान के लिए, वहीं भूपेश बघेल और राजीव शुक्ला को हरियाणा के लिए ऑब्जर्वर नियुक्त किया गया है। इन नेताओं पर क्रॉस वोटिंग रोकने की ज‍िम्‍मेदारी रहेगी। इस संबंध में कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने पत्र जारी किया है।

राज्यसभा चुनाव में बाजी जीतने के लिए सेंधमारी की संभावनाएं बढ़ गई हैं। ऐसे में विधायकों की खरीद-फरोख्त को ध्यान में रखते हुए कांग्रेस ‘रिसॉर्ट पालिटिक्स’ का सहारा ले रही है। कांग्रेस राजस्थान के अपने विधायकों को उदयपुर के अरावली रिजॉर्ट में रखेगी। इसके अलावा जैसलमेर के सूर्यगढ़ में भी 40 कमरे बुक कराए गए हैं। दूसरी ओर बीजेपी भी अपने विधायकों को सुरक्षित रखने के लिए होटल में बाड़ेबंदी करेगी।

राजस्थान में विधायकों के बगावती तेवर: दरअसल, राज्यसभा चुनाव से पहले राजस्थान में 6 विधायकों ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ बगावती तेवर अपना लिए थे। जिसके बाद कई दिन तक मान-मनौव्वल का दौर चला और सीएम अशोक गहलोत आखिरकार नाराज विधायकों को मनाने में कामयाब रहे। करीब तीन घंटे तक चली बैठक के दौरान नाराज विधायकों ने मुख्यमंत्री से कहा कि सबको कुछ न कुछ मिला लेकिन उन्हें कुछ नहीं मिला। सीएम गहलोत ने उनकी समस्याएं और शिकायतें दूर करने का आश्वासन दिया।

सीएम से मिलने वाले विधायकों में लाखन मीना, वाजिब अली, गिर्राज सिंह मलिंगा, संदीप यादव, मंत्री राजेंद्र गुढ़ा और कांग्रेस विधायक खिलाड़ी लाल बैरवा थे। सीएम गहलोत से मिलने के बाद इन विधायकों की नाराजगी दूर हो गई है। सभी विधायकों की मुख्यमंत्री निवास में अशोक गहलोत के साथ फोटो भी जारी की गई।

हरियाणा कांग्रेस में बवाल: वहीं, दूसरी ओर हरियाणा कांग्रेस में भी राज्यसभा चुनाव से पहले बवाल मचा हुआ है।कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भूपेंद्र हुड्डा और पार्टी के नाराज विधायक कुलदीप बिश्नोई एक दूसरे पर तंज कसने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं। शनिवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में भूपेंद्र हुड्डा ने कुलदीप बिश्नोई पर निशाना साधते हुए कहा कि जिनकी अंतरात्मा पार्टी के साथ नहीं है उनको कांग्रेस छोड़ देनी चाहिए। वहीं बिश्नोई ने खुद को जन्मजात कांग्रेसी बता कर हुड्डा पर पलटवार किया।