पूरे देश में क्रिसमस का त्योहार धूमधाम से मनाया जा रहा है। इस खास अवसर पर पीएम नरेंद्र मोदी ने भी अपने आवास पर ईसाई समुदाय के लोगों से मुलाकात की और उन्हें क्रिसमस की शुभकामनाएं दीं। इस दौरान पीएम नरेंद्र मोदी ने ईसाई समुदाय के लोगों से बातचीत में कहा कि गरीबों और वंचितों की सेवा में ईसाई समुदाय सबसे आगे रहा है। भारत देश के प्रति आपके योगदान को गर्व से स्वीकार करता है। उन्होंने कहा कि सरकार सुनिश्चित कर रही है कि विकास सभी तक पहुंचे। ईसाइयों, विशेषकर गरीबों और वंचितों को भी इससे लाभ हो रहा है। उन्होंने कहा, “ईसाइयों से पुराने, आत्मीय और मधुर संबंध रहे हैं।”

PM ने और क्या कहा? जानिए बड़ी बातें

  1. पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, “क्रिसमस के इस अवसर पर मैं देश के क्रिश्चियन समुदाय के लिए एक बात जरूर कहूंगा। देश के लिए आपके योगदान को भारत गर्व से स्वीकार करता है। ईसाई समुदाय ने स्वतंत्रता आंदोलन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।”
  2. प्रधानमंत्री ने कहा कि इस यात्रा में ईसाई समुदाय के कई विचारक भी शामिल थे जिनमें एक थे स्टीफंस कॉलेज सुशील कुमार रुद्र, जिनके बारे में स्वयं महात्मा गांधी ने बताया था कि असहयोग आंदोलन की प्रेरणा उन्हीं की छत्रछाया में प्राप्त हुई थी।
  3. उन्होंने कहा, “ईसाई समुदाय ने समाज को दिशा देने में निरंतर महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। समाज सेवा में यह समुदाय बढ़ चढ़कर हिस्सा लेता है। गरीब और वंचितों की सेवा के लिए हमेशा तत्पर रहता है। शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में आज भी पूरे भारत में ईसाई समुदाय के संस्थान बहुत बड़ा योगदान दे रहे हैं।”
  4. प्रधानमंत्री ने इस संवाद के दौरान ईसाइयों के साथ अपने पुराने और गर्मजोशी भरे संबंधों को याद किया और कहा कि वे गरीबों और वंचितों की सेवा में हमेशा आगे रहे हैं। मोदी ने कहा कि ईसा मसीह का जीवन संदेश करुणा और सेवा पर केंद्रित था और उन्होंने एक समावेशी समाज के लिए काम किया जहां न्याय सभी के लिए हो।
  5. प्रधानमंत्री ने कहा कि ये मूल्य उनकी सरकार की विकास यात्रा में ‘मार्गदर्शक’ के रूप में काम कर रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि हिंदी दर्शन के स्रोत माने जाने वाले उपनिषदों ने भी बाइबिल की तरह पूर्ण सत्य को साकार करने पर ध्यान केंद्रित किया है।