संसद में ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा हुई। लोकसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी चर्चा में हिस्सा लिया और बताया कि किस तरीके से ऑपरेशन सिंदूर सफल रहा और कांग्रेस ने इस पर राजनीति करने की कोशिश की। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बताया कि अब भारत आतंक को कड़ा जवाब देगा और किसी भी परमाणु ब्लैकमेल के आगे नहीं झुकेगा। इसके अलावा पीएम मोदी ने 5 महान राजाओं के भी नाम लिए जिनका काफी महत्व है। यही नहीं चुनाव के दौरान भी इन राज्यों का जिक्र किया जाता है। आईए जानते हैं पीएम मोदी ने किन पांच राजाओं के नाम लिए और उनका सामाजिक समीकरण क्या है?

छत्रपति शिवाजी महाराज

पीएम मोदी ने अपने भाषण के दौरान छत्रपति शिवाजी महाराज का जिक्र किया। बता दें कि छत्रपति शिवाजी महाराज महान योद्धा, शासक और मराठा साम्राज्य के संस्थापक थे। उन्होंने मुगलों का विरोध किया और कई लड़ाइयों में जीत हासिल की। वैसे तो शिवाजी को पूरे देशभर में माना जाता है लेकिन मराठा समुदाय के लोग इनको खूब पसंद करते हैं और भगवान जैसा पूजते हैं। पिछले कुछ महीनों में विपक्ष द्वारा यह बताने की कोशिश की गई कि मराठा लोग बीजेपी से नाराज चल रहे हैं। ऐसे में छत्रपति शिवाजी के माध्यम से बीजेपी मराठाओं को लामबंद करने की कोशिश कर रही है। आने वाले समय में बीएमसी के चुनाव भी हैं और महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे के एक होने की भी खबरें आ रही है।

महाराणा प्रताप

पीएम मोदी ने अपने भाषण के दौरान महाराणा प्रताप का भी जिक्र किया। महाराणा प्रताप मेवाड़ में सिसोदिया राजवंश के राजा थे। उनका नाम इतिहास में वीरता, शौर्य, त्याग और पराक्रम के लिए अमर है। महाराणा प्रताप ने मुगल बादशाह अकबर की अधीनता नहीं स्वीकार की और कई सालों तक संघर्ष किया। अंत में अकबर महाराणा प्रताप को अपने पाले में नहीं कर पाया। महाराणा प्रताप की महानता का अंदाजा इसी बात से लगा सकते हैं कि उनकी नीतियां शिवाजी महाराज से लेकर ब्रिटिश के खिलाफ बंगाल के स्वतंत्रता सेनानियों के लिए प्रेरणा का स्रोत थी।

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महाराजा रणजीत सिंह

पीएम मोदी ने अपने भाषण के दौरान महाराजा रणजीत सिंह का जिक्र किया। रणजीत सिंह एक महान शासक और योद्धा के रूप में जाने जाते हैं। उन्होंने 19वीं सदी में पंजाब को एकजुट किया और सिख साम्राज्य की स्थापना की थी। रणजीत सिंह को शेर-ए-पंजाब के नाम से भी जाना जाता है। रणजीत सिंह ने अंग्रेजों को पंजाब में घुसने से रोकने में मदद की थी। उनके शासन के दौरान ही व्यापार और कृषि को बढ़ावा दिया गया था, जिससे पंजाब की अर्थव्यवस्था भी मजबूत हुई थी। रणजीत सिंह सिख समाज को एक करने के रूप में जाना जाता है। ऐसे में पीएम मोदी ने लोकसभा में उनका जिक्र किया है और पंजाब में बीजेपी पूरा जोर लगा रही है। 2027 में पंजाब विधानसभा चुनाव होने वाले हैं।

लाचित बोरफुकन

पीएम मोदी ने अपने भाषण के दौरान लाचित बोरफुकन का भी जिक्र किया। वह असम के वीर योद्धा के रूप में जाने जाते हैं, जिन्होंने 1671 में सरायघाट के युद्ध में मुगलों को हराया था। लाचित बोरफुकन अहोम साम्राज्य के सेनापति थे। उनकी सेना उस समय की सबसे शक्तिशाली सेनाओं में से एक थी। लाचित बोरफुकन को असम की वीरता और देशभक्ति का प्रतीक माना जाता है। बता दें कि 24 नवंबर को असम में लाचित दिवस मनाया जाता है और उनकी बहादुरी को याद किया जाता है।

महाराजा सुहेलदेव

पीएम मोदी ने अपने भाषण के दौरान महाराजा सुहेलदेव का भी जिक्र किया। महाराजा सुहेलदेव राजभर 11वीं सदी के एक वीर योद्धा थे, जिन्होंने विदेशी आक्रांताओं के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी और विजय हासिल की थी। बहराइच के युद्ध में उन्होंने अफगानी आक्रांता गाजी मियां को हराया था और भारत को अत्याचार और गुलामी से बचाया था। उत्तर प्रदेश में सुहेलदेव के नाम पर एक पार्टी भी है, जिसके राष्ट्रीय अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर हैं। ओमप्रकाश राजभर की पार्टी का नाम सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी है। उत्तर प्रदेश में महाराजा सुहेलदेव के नाम पर मेले भी लगते हैं।