Parliament Special Session 2023: जी-20 समिट खत्म होने के बाद केंद्र की मोदी सरकार ने 18-22 सितंबर के बीच पांच दिनों के लिए संसद का विशेष सत्र बुलाया है। पुराने संसद भवन की विदाई को लेकर कई तरह के कयास लगाए जा रहे हैं। इस बात पर भी काफी अटकलें हैं कि क्या मौजूदा संसद भवन को अलविदा कहने के लिए सेंट्रल हॉल में 19 सितंबर को दोनों सदनों की संयुक्त बैठक बुलाई जाएगी। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, संसद का आगामी सत्र 18 सितंबर से मौजूदा भवन में शुरू होगा, लेकिन गणेश चतुर्थी पर नए भवन में ट्रांसफर हो जाएगा।
रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि दोनों सदनों की संयुक्त बैठक के बारे में कोई आधिकारिक जानकारी नहीं है, लेकिन इसे आयोजित करने की तैयारी चल रही है।
बता दें, पुरानी संसद का सेंट्रल हॉल सालों तक दोनों सदनों की संयुक्त बैठकों का स्थान रहा है। नए संसद भवन में सेंट्रल हॉल नहीं है, लेकिन नई लोकसभा में संयुक्त बैठकें आयोजित की जा सकती हैं, क्योंकि इसमें 1,272 सदस्यों के बैठने की व्यवस्था की गई है।
अधिकारियों ने कहा कि नई संसद के दोनों सदन पूरी तरह तैयार हैं और नई इमारत में सांसदों के लिए बने कार्यालय और कमेटी रूम्स भी तैयार हैं। पहले भी खबर आई थी कि आगामी 19 सितंबर को गणेश चतुर्थी के दिन संसदीय कामकाज नए संसद भवन में शिफ्ट किया जाएगा।
10 दिसंबर 2020 प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए संसद भवन की आधारशिला रखी थी। इसका उद्घाटन इस साल 28 मई को किया था। इसे बनाने में 862 करोड़ की लागत आई। यह इमारत अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस है। इसका आकार त्रिकोणीय है। यह 64,500 वर्ग मीटर में फैला हुआ है। नई संसद में लोकसभा को राष्ट्रीय पक्षी मोर और राज्यसभा को राष्ट्रीय पुष्प कमल की थीम पर तैयार किया गया है।
नई संसद पुनर्निर्मित सेंट्रल विस्टा परियोजना का हिस्सा है। आर्किटेक्ट बिमल पटेल ने सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट को डिजाइन किया है। साल 2026 के बाद सीटों की कुल संख्या पर रोक हटने पर लोकसभा सीटों की संख्या मौजूदा 545 से काफी बढ़ने की संभावना है। इसे ध्यान में रखते हुए नए संसद भवन का निर्माण किया गया है। नई बिल्डिंग की सबसे बड़ी विशेषता संविधान हॉल है। इस हॉल में भारत के संविधान की मूल कॉपी रखी जाएगी।