पाकिस्तान ने 14 साल बाद स्वदेश लौटी गीता का डीएनए सहरसा के जनार्दन महतो परिवार से नहीं मिला। परिवार ने दावा किया था कि गीता उसी की बेटी है। इससे पहले गीता को अपनी पुत्री बताने वाले बिहार के महतो परिवार के सदस्यों ने उससे सुषमा की मौजूदगी में मुलाकात की थी। गीता ने उन्हें वहां भी पहचानने से इनकार कर दिया था, यद्यपि उसने उन्हें तब उनकी तस्वीरों से पहचाना था जब वह कराची में थी। गीता के इनकार करने के बाद सहरसा के रहने वाले जनार्दन महतो परिवार ने कहा था कि डीएनए जांच में यह साबित हो जाएगा।

गौरतलब है कि गीता सात आठ साल की उम्र में पाकिस्तानी रेंजर्स को समझौता एक्सप्रेस में लाहौर रेलवे स्टेशन पर मिली थी। उसे इधी फाउंडेशन की बिलकिस इधी ने गोद लिया और अपने साथ कराची में रखा था। पाकिस्तान में दशक भर से ज्यादा वक्त गुजारने के बाद गीता 26 अक्तूबर को भारत लौटी। केंद्र सरकार उसके परिवार का पता लगाने की कोशिश कर रही है।

पाकिस्तान से स्वदेश लौटी गीता, महतो परिवार को पहचानने से किया इंकार

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