UK Indian Embassy Attack: पिछले साल 19 मार्च को विरोध प्रदर्शन के दौरान लंदन में भारतीय दूतावास के पास हिंसा हुई थी। इसमें संलिप्तता को लेकर 15 संदिग्धों की तस्वीरें जारी की गईं और उनके लिए लुकआउट नोटिस भी जारी किया गया था। हालांकि, अब महीनों बाद राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) का कहना कि इस मामले में पंजाब के 3 लोगों की गलत पहचान हुई। बता दें कि गृह मंत्रालय ने पिछले साल 15 लोगों के खिलाफ लुक आउट सर्कुलर जारी किया था। इन सभी की पहचान हिंसा से जुड़े वीडियो से की गई।

NIA की टीम जांच करने के लिए पिछले साल मई के महीने में ब्रिटेन पहुंची थी। इसका मकसद घटना को लेकर पाकिस्तान की ISI से जुड़े संदिग्ध आतंकी लिंक की जांच करना रहा। इसी दौरान दूतावास पर हमले वाले वीडियो जारी किए गए थे। इनमें लोगों को लंदन में भारतीय दूतावास के बाहर इकट्ठा होते और हिंसा करते देखा गया। भारत लौटने के बाद एनआईए के अधिकारियों ने 45 संदिग्धों के वीडियो और तस्वीरें सार्वजनिक की थीं। साथ ही, उनकी पहचान में मदद करने की अपील की गई। इसे लेकर एजेंसी को लगभग 850 कॉल मिली थी।

संदिग्धों की पहचान में मांगी गई थी मदद

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (RAW) ने भी पहचान में मदद की थी। बताते हैं कि चेहरा पहचानने वाली तकनीक से 15 लोगों में से कुछ की पहचान में मदद ली गई। इसके बाद उनके खिलाफ एलओसी जारी की गई। कुल 15 संदिग्धों में से 3 को हाल ही में हिरासत में लिया गया और फिर राष्ट्रीय जांच एजेंसी को सौंप दिया गया। हालांकि, लंबे समय तक जांच चली जांच के बाद भी NIA को 19 मार्च की घटना से उनका कोई भी संबंध नहीं मिला।

जांच टीम ने कानूनी टीम और तत्कालीन महानिदेशक (NIA) दिनकर गुप्ता के साथ चर्चा की। इसके बाद जांच एजेंसी ने इनके खिलाफ अपनी एलओसी बंद करने का फैसला लिया। गृह मंत्रालय द्वारा लुकआउट नोटिस जारी किया जाता है जो नामित किए गए व्यक्ति को देश छोड़ने से रोक देता है।

बता दें कि 19 मार्च, 2023 को लंदन में भारतीय दूतावास पर करीब 50 लोगों के एक ग्रुप ने हमला बोल दिया। इन सभी पर भारत के राष्ट्रीय ध्वज यानी की तिरंगे का अपमान करने का आरोप लगाया गया था। दूतावास के एक अधिकारी की तरफ से दर्ज की गई एफआईआर में पहचाने गए हमले के आयोजकों में खालिस्तान लिबरेशन फोर्स के अवतार सिंह खांडा, जसवीर सिंह और यूके के गुरचरण सिंह शामिल हैं।

अमृतपाल सिंह भी एनआईए ने की थी पूछताछ

एक अधिकारी ने बताया कि अवतार सिंह खांडा की जून के महीने में बर्मिंघम में मौत हो गई और एनआईए अपनी केस फाइल के लिए उसका बर्थ सर्टिफिकेट हासिल करने के लिए संबंधित विभाग से संपर्क कर रही है। यूके की घटना की जांच के दौरान, एनआईए ने असम की डिब्रूगढ़ जेल में वारिस पंजाब दे के चीफ अमृतपाल सिंह और उसके 9 साथियों से पूछताछ की थी।