Inida-China: संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC) में भारत ने चीन के शिनजियांग हालात से जुड़े मसौदा प्रस्ताव पर वोट नहीं दिया था। जिसके बाद भारत के इस कदम पर सियासत शुरू हो गई है। शुक्रवार (7 अक्टूबर, 2022) को विदेश मंत्रालय ने मानवाधिकारों के उल्लंघन के मुद्दे पर अपना रुख स्पष्ट किया है।
विदेश मंत्रालय ने बयान जारी करते हुए कहा, ‘भारत सभी मानवाधिकारों के लिए प्रतिबद्ध है। यूएनएचआरसी में भारत का वोट उसकी लंबे समय से चली आ रही स्थिति के अनुरूप है। भारत कभी भी ‘Country-Specific Resolutions’ में विश्वास नहीं जताता है। भारत ऐसे मुद्दों से निपटने के लिए बातचीत का पक्षधर है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि चीन के शिनजियांग प्रांत के लोगों के मानवाधिकारों का सम्मान किया जाना चाहिए।
वहीं एलएसी पर स्थिति के बारे में पूछे जाने पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि स्थिति अभी भी सामान्य नहीं है। कुछ सकारात्मक कदम उठाए गए हैं, लेकिन कुछ और उठाए जाने की जरूरत है।
विपक्षी दलों ने चीन पर भारत के रुख को लेकर चुटकी ली
चीन के खिलाफ वोटिंग से पीछे हटने पर कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने ट्वीट किया, ‘चीन पर इतनी झिझक क्यों? भारत सरकार चीनी घुसपैठ को लेकर संसदीय बहस के लिए तैयार नहीं होगी। भारत UNHRC में शिनजियांग में मानवाधिकार पर बहस के लिए लाए प्रस्ताव से दूर रहेगा। विदेश मंत्रालय सांसदों को ताइवान जाने के लिए राजनीतिक मंजूरी नहीं देगा।’ शिवसेना सांसद प्रियंका चतुर्वेदी तंज कसते हुए कहा है, ‘हिंदी-चीनी भाई-भाई। लाल आंख से लेकर बंद आंख तक का सफर।’
बता दें, गुरुवार को संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में चीन में उइगर मुस्लिमों पर हो रहे अत्याचार पर मंथन के लिए एक प्रस्ताव लाया गया था। अमेरिका और कई दूसरे पश्चिमी देश ये प्रस्ताव लेकर आए थे, लेकिन यूएन में चीन के खिलाफ लाया गया ये प्रस्ताव गिर गया। 19 देशों ने इस प्रस्ताव के खिलाफ वोटिंग की।
भारत ने भी वोटिंग में हिस्सा ही नहीं लिया। ऐसे में इस प्रस्ताव के पक्ष में जरूरी वोट इकट्ठा नहीं हो पाए और चीन को इसका सीधा फायदा पहुंचा। ऐसे में संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में उइगर मुस्लिमों की स्थिति पर चीन को घेरने की अमेरिका और पश्चिमी देशों की कोशिशों को करारा झटका लगा। 47 सदस्यीय परिषद में भारत और यूक्रेन समेत 11 देशों ने मतदान के समय अनुपस्थित रहकर चीन की परोक्ष तौर पर मदद की।