महाराष्ट्र में ठाणे (ग्रामीण) जिले की सौ से अधिक महिला पुलिसर्किमयों को उस समय एक सुखद आश्चर्य हुआ, जब उन्हें बंदोबस्त ड्यूटी के नाम पर बुलाया गया, लेकिन ड्यूटी की जगह मल्टीप्लेक्स में एक फिल्म की विशेष स्क्रींनिग के लिए ले जाया गया। अधिकारियों के अनुसार, जिला पुलिस अधीक्षक डॉ शिवाजी राठौड़ ने गुरुवार को महिला कांस्टेबलों को ‘तत्काल’ बंदोबस्त ड्यूटी के लिए भयंदर पुलिस स्टेशन बुलाया था। लेकिन उन्हें ड्यूटी पर न भेजकर फिल्म दिखाने ले जाया गया।
महिलाकर्मीयों को आराम देना था मकसद: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक संजय पाटिल ने शुक्रवार (27 दिसंबर) को कहा कि, ‘‘ जब दोपहर में सौ से अधिक महिलाकर्मी पुलिस स्टेशन पहुंचीं, तो उन्हें ‘मर्दानी-2’ की विशेष स्क्रींनिग के लिए एक मॉल में स्थित सिनेमा हॉल ले जाया गया, जिसे देख सभी आश्चर्यचकित रह गई।’’ उन्होंने कहा कि, ‘‘यह कार्यक्रम महिला पुलिसर्किमयों की कड़ी मेहनत का सम्मान करने के लिए बनाया गया था। यह देखते हुए कि उन्हें ड्यूटी के काम और घर के कामों को संभालने के लिए और इनके बीच संतुलन बनाने के लिए कड़ी मेहनत करनी होती है। इसका मकसद उन्हें थोड़ा आराम देना भी था।’’
Hindi News Today, 27 December 2019 LIVE Updates: देश-दुनिया की हर खबर पढ़ने के लिए यहां करें क्लिक
फिल्म ‘‘मर्दानी-2’’ दिखाई गई: पाटिल ने बताया कि भयंदर पुलिस स्टेशन में जब सारी महिला कांस्टेबल पहुंच गई तो उन्हें भोजन कराया गया और वाहनों से थिएटर ले जाया गया। महिला कर्मियों को ‘‘मर्दानी-2’’ फिल्म दिखाई गई। इस फिल्म में अभिनेत्री रानी मुखर्जी ने एक साहसी और निडर पुलिस अधिकारी शिवानी शिवाजी रॉय की भूमिका निभाई है, जो बाल तस्करी और ड्रग्स तस्करी में संलिप्त एक संगठित आपराधिक गिरोह के खिलाफ अभियान चलाती है।
फिल्म पर हुआ था विवाद: गौरतलब है कि यशराज प्रोडक्शन के बैनर तले बनी फिल्म मर्दानी 2 का ट्रेलर लांच होने के बाद ही इसल पर विवाद होने लगा था। कोटा शहर के कई व्यापारिक व सामाजिक संस्थानों ने रानी मुखर्जी की इस फिल्म के कंटेंट पर विरोध जताते हुए प्रतिबंध लगाने की मांग की है। संगठनों का आरोप है कि फिल्म में कोटा शहर की खराब छवि दिखाने की कोशिश की गई है।
