तेलंगाना के मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव 2024 लोकसभा चुनाव से पहले अपनी पार्टी बीआरस का जनाधार महाराष्ट्र में बढ़ाने की जोर आजमाइश कर रहे हैं। इसी को लेकर राव के नेतृत्व वाली भारत राष्ट्र समिति की दो दिवसीय महाराष्ट्र यात्रा 26 जून से शुरू हो रही है। उच्च पदस्थ सूत्रों से पता चला है कि बीआरएस एक हेलीकॉप्टर के माध्यम से पंढरपुर में तीर्थयात्रा के दौरान वारकरियों पर गुलाब के फूलों की बारिश करवाना चाहता था, लेकिन महाराष्ट्र सरकार ने इसकी अनुमति नहीं दी है।
26 जून को पंढरपुर पहुंचेंगे KCR
पंढरपुर में मंत्रिपरिषद और राज्य विधान सभा के निर्वाचित सदस्यों और संसद सदस्यों के साथ केसीआर की निर्धारित योजनाओं में किसी तरह का कोई परिवर्तन नहीं किया गया है। वे 26 जून को पंढरपुर पहुंचेंगे। 27 जून को वे पंढरपुर में भगवान विट्ठल को समर्पित एक मंदिर का दौरा करेंगे।
BRS की महाराष्ट्र में पैर जमाने की कोशिश
बीआरएस 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले महाराष्ट्र में पैर जमाने के लिए काम कर रही है। महाराष्ट्र के मराठवाड़ा और विदर्भ क्षेत्र में बीआरएस की रैलियों ने जहां भीड़ जुटाई, उससे मुख्यधारा के राजनीतिक दल चिंतित हो गए हैं। वारकरी हर साल पंढरपुर की एक महीने की तीर्थयात्रा करते हैं। महाराष्ट्र के ग्रामीण और शहरी श्रद्धालु भगवान विट्ठल के भजन गाते हुए सैकड़ों मील पैदल चलकर तीर्थयात्रा करते हैं।
बीआरएस किसान सेल के प्रमुख माणिक कदम ने कहा, ‘केसीआर ने पिछले दिनों पंढरपुर मंदिर का दौरा किया था। इस बार सीएम के नेतृत्व में पूरी तेलंगाना कैबिनेट पंढरपुर में होगी।”
महाराष्ट्र में तीन रैलियां कर चुके KCR
बीआरएस महाराष्ट्र में अपनी पहुंच बनाने के लिए योजना पर काम कर रही है। महाराष्ट्र में नई पार्टी खुद को मजबूत करने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है। श्रमिकों की भर्ती से लेकर राज्य तीर्थयात्रा में भागीदारी तक। बीआरएस राज्य के लोगों, विशेषकर किसानों से जुड़ने की कोशिश कर रही है। हालांकि केसीआर का मुख्य गढ़ तेलंगाना है, लेकिन वह महाराष्ट्र पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। वह पहले ही मराठवाड़ा और विदर्भ क्षेत्र में तीन रैलियां कर चुके हैं। बीआरएस महाराष्ट्र के साथ-साथ मध्य प्रदेश, हरियाणा, छत्तीसगढ़ में भी अपनी पार्टी का बेस तैयार कर रही है।
केसीआर का राजनीतिक एजेंडा लोगों को एक ऐसी सरकार की आवश्यकता के बारे में बताना है, जो किसानों के हित की बात करे। किसान सरकार वह टैगलाइन है जिसे उन्होंने बीआरएस की नई पहचान के लिए रेखांकित किया है। हाल ही में, केसीआर ने एक बीआरएस कार्यालय खोला और आरएसएस के मुख्यालय नागपुर में एक सार्वजनिक रैली की।
इन प्रमुख शहरों में कार्यालय खोलने की योजना
बीआरएस ने औरंगाबाद, पुणे और मुंबई में अपने कार्यालय खोलने की योजना बनाई है। माना यह जा रहा है कि यह कार्यालय लोगों को अपनी पहचान बनाने में मदद करेंगे। यह 24/7 कार्य करने वाला पार्टी का कार्यालय भी होगा। जहां कैडर को मजबूत करने के लिए भर्ती अभियान चलाया जाएगा।
‘तीर्थयात्री बनकर आएं केसीआर’
डिप्टी सीएम देवेंद्र फड़णवीस ने कहा, ‘जो कोई भी भगवान विट्ठल की पूजा करने के लिए पंढरपुर मंदिर आना चाहता है, उसका स्वागत है।’ पंढरपुर मंदिर के दरवाजे जाति, समुदाय, राजनीतिक विचारधारा या राज्य से परे सभी के लिए खुले हैं। फड़णवीस ने आगे कहा कि अगर केसीआर एक तीर्थयात्री के रूप में कैबिनेट मंत्रियों के साथ दर्शन के लिए पंढरपुर आ रहे हैं तो हम उनका स्वागत करते हैं। हमारी एकमात्र चिंता यह है कि जब आप पंढरपुर की तीर्थयात्रा करें तो कोई राजनीति नहीं होनी चाहिए। जो कोई भी यहां आता है वह भक्त है। इस साल 29 जून को आषाढ़ी एकादशी को इस तीर्थ यात्रा का समापन होगा। तीर्थयात्रा के दौरान दस लाख से अधिक वारकरी मंदिर में आते हैं।