BJP Sankalp Patra: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने रविवार को 76 पृष्ठों का घोषणापत्र जारी कर दिया। यह घोषणापत्र पिछले दो लोकसभा चुनाव के लिए जारी भाजपा के घोषणापत्रों से बड़ा है। 2019 के घोषणापत्र में 50 और 2014 के घोषणापत्र में 52 पृष्ठ थे। भाजपा ने इस बार अपने घोषणापत्र में केवल पृष्ठों की ही संख्या नहीं बढ़ाई है बल्कि इसके आवरण से लेकर मुद्दों में भी बहुत परिवर्तन आया है।
साल 2014 के लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा की ओर से जारी घोषणापत्र के आवरण पृष्ठ पर पार्टी के कुल 11 नेता की तस्वीर थी। इनमें नरेंद्र मोदी, सुषमा स्वराज, अरुण जेटली, रमन सिंह, शिवराज सिंह चौहान, मनोहर पार्रीकर, वसुंधरा राजे, अटल बिहारी वायपेयी, लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी और राजनाथ सिंह शामिल थे। इस घोषणापत्र को ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ और ‘सबका साथ, सबका ध्येय वाक्य बनाया गया था।
2014 के चुनाव में भाजपा नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की बड़ी जीत हुई और नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री बने। पार्टी ने साल 2019 के घोषणापत्र के आवरण पृष्ठ पर केवल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर लगाने का निर्णय किया। इस बार पार्टी ने अपने घोषणापत्र को ‘संकल्प पत्र’ कहा और इस ध्येय वाक्य ‘संकल्पित भारत, सशक्त भारत’ रखा गया। 2019 में पार्टी 2014 से भी अधिक सीट जीती और नरेंद्र मोदी दूसरी बार प्रधानमंत्री बने। इस बार के घोषणापत्र के आवरण पृष्ठ पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा की तस्वीर है। घोषणापत्र का ध्येय वाक्य ‘भारत का संकल्प, मोदी की गारंटी 2024’ रखा गया है।
मोदी की गारंटी का जिक्र
साल 2024 के घोषणापत्र में भाजपा ने महंगाई को कम करने, विदेशी बैंकों में जमा कालेधन का पता लगाने और उसे वापस लाने का हरसंभव प्रयास करने, समान नागरिक संहिता लागू करने, जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को हटाने, अयोध्या में राम मंदिर निर्माण कराने, बुलेट ट्रेन चलाने और किसानों को लागत मूल्य से 50 फीसद अधिक मूल्य दिलाने का वादा किया था। पार्टी के ये प्रमुख वादे थे।
इसी तरह 2019 के घोषणापत्र में भाजपा ने 2022 तक किसानों की आमदनी दोगुनी करने का लक्ष्य रखा था। साथ ही 60 साल की उम्र के बाद सभी छोटे और सीमांत किसानों के लिए पेंशन देने, भूमि रिकार्ड को डिजिटल करने, माध्यमिक स्कूलों को ‘आपरेशन डिजिटल बोर्ड’ के तहत लाने, हर परिवार को पक्का मकान, हर घर में शौचालय, हर नागरिक के लिए बैंक खाता, गरीब ग्रामीण परिवारों को एलपीजी कनेक्शन देने, राष्ट्रीय राजमार्गों की लंबाई को दोगुना करने, हवाई अड्डों की संख्या बढ़ाने, तीन तलाक के खिलाफ कानून बनाकर मुसलिम महिलाओं के न्याय दिलाने, रेलवे-देश भर में स्मार्ट रेलवे स्टेशनों का निर्माण करने, रेलवे स्टेशनों पर वाई-फाई की सुविधा उपलब्ध कराने, माल गलियारे परियोजना का पूरा करने, निर्यात दोगुना करने की दिशा में काम करने, हर पांच किमी के दायरे पर बैंकिंग सुविधा उपलब्ध कराने, सभी बच्चों का टीकाकरण कराने और छोटे दुकानदारों को पीएम श्रमयोगी मानधन योजना में शामिल करने का वादा किया गया था।
काशी मथुरा को रखा दूर?
साल 2019 के बाद भाजपा ने अनुच्छेद 370 को हटाया, तीन तलाक के खिलाफ कानून बनाया, अयोध्या में श्रीराम लला की प्राण प्रतिष्ठा कराने जैसे अपने वादों को पूरा किया। अब 2024 के घोषणापत्र में भाजपा ने यूसीसी को लागू करने और एक राष्ट्र, एक चुनाव को वास्तविकता बनाने की बात की है। साथ ही पार्टी ने एनआरसी, मथुरा व काशी मंदिर के विवादों से खुद को दूर रखा है। पार्टी का पूरा ध्यान विकास और कल्याणकारी योजनाओं पर है।
पार्टी का अब पूरा ध्यान भारत को 2047 तक विकसित बनाने पर है। अब जब राम मंदिर खुल गया है, तो घोषणापत्र में भगवान राम की विरासत को संरक्षित करने और बढ़ावा देने का संकल्प लिया गया है और कहा गया है कि रामायण दुनिया भर में मनाया जाता है, खासकर दक्षिण और दक्षिण-पूर्व एशिया में। हम सभी देशों में भगवान राम की मूर्त और अमूर्त विरासत का दस्तावेजीकरण करने और उसे बढ़ावा देने के लिए एक वैश्विक कार्यक्रम शुरू करेंगे। हम राम लला की प्राण प्रतिष्ठा के उपलक्ष्य में दुनिया भर में बड़े उत्साह के साथ रामायण उत्सव मनाएंगे।
