महाराष्ट्र के पुणे में स्टेट करप्शन ब्यूरो (ACB) ने सतारा जिले में एक डिस्ट्रिक्ट और सेशन जज के खिलाफ मामला दर्ज किया। जज साहब पर आरोप है कि उन्होंने धोखाधड़ी के एक मामले में एक आरोपी को जमानत देने के लिए पांच लाख रुपये की रिश्वत मांगी है। द इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, एसीबी ने इस मामले में बिचौलिए की भूमिका निभाने वाले दो लोगों को भी गिरफ्तार किया है।
द इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट के प्रावधानों के तहत सतारा सिटी पुलिस स्टेशन में दर्ज एक अपराध में ACB ने सतारा में डिस्ट्रिक्ट और सेशन जज के रूप में तैनात धनंजय लक्ष्मणराव निकम के खिलाफ मामला दर्ज किया। ACB ने जिन दो अन्य लोगों के खिलाफ केस रजिस्टर किया, उनकी पहचान मुंबई के वर्ली निवासी किशोर संभाजी खरात और सतारा के माण निवासी आनंद मोहन खरात के रूप में की गई है।
जज साहब के खिलाफ क्यों दर्ज की गई शिकायत?
ACB की पुणे यूनिट को एक 24 साल की महिला की तरफ से शिकायत मिली थी। इस महिला के पिता पुणे में स्थित आर्मी के संस्थान में सिविलियन डिफेंस कर्मचारी हैं। यह व्यक्ति वर्तमान में सतारा सिटी पुलिस स्टेशन में उसके खिलाफ दर्ज एक मामले की वजह से न्यायिक हिरासत में जेल में हैं। यह मामला क्रिमिनल ब्रीच ऑफ ट्रस्ट और पैसे के बदले सरकारी नौकरी देने के बहाने एक व्यक्ति को धोखा देने के आरोपों से संबंधित है।
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इस व्यक्ति द्वारा दायर जमानत याचिका को पहले ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट कोर्ट ने खारिज कर दिया था। इसके बाद उच्च अदालत में मामला पहुंचा और जमानत की एप्लिकेशन जज निकम की अध्यक्षता वाली कोर्ट में लंबित है। ACB के SP दयानंद गावडे ने बताया कि आरोपी के पक्ष में जमानत याचिका पर फैसला सुनाने के लिए किशोर खरात और आनंद खरात ने पब्लिक सर्वेंट जज धनंजय निकम के कहने पर शिकायतकर्ता से पांच लाख रुपये की रिश्वत मांगी। इसके बाद महिला ने ACB से संपर्क किया।
ACB के SP दयानंद गावडे ने आगे कहा कि दिसंबर 3 और दिसंबर 9 के बीच यह जांच में यह वेरिफाई किया गया कि घूस मांगी गई थी। जांच में पुष्टि हुई कि आरोपी पब्लिक सर्वेंट ने किशोर खरात और आनंद खरात के साथ मिलीभगत करके शिकायतकर्ता से उसके पिता को जमानत देने के लिए पांच लाख रुपये की मांग की थी। इसके अनुसार, जज निकम, किशोर खरात और आनंद खरात व एक अन्य अज्ञात आरोपी के खिलाफ प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है। आगे की जांच जारी है।