Jawaharlal Nehru University, JNU VC: जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) के कुलपति (VC) एम जगदीश कुमार ने दावा किया कि 15 से 20 छात्रों ने विश्वविद्यालय परिसर में उन्हें घेर लिया और अपशब्द कहे तथा हमला करने का प्रयास किया, लेकिन सुरक्षा कर्मचारियों ने उन्हें किसी तरह बचा लिया। हालांकि, जेएनयू छात्र संघ ने कहा कि जब छात्रों ने कुलपति से छात्रावास शुल्क बढ़ोतरी के बारे में सवाल किए तो वह भाग खड़े हुए। साथ ही उन्होंने कुलपति पर झूठी बात फैलाने का आरोप लगाया।

जेएनयू वीसी का आरोप: कुलपति  कुमार ने बताया, ‘‘जब हम   स्कूल ऑफ आर्ट्स एंड एस्थेटिक्स से वापस लौट रहे थे, तब 15 से 20 छात्रों ने हिंसक तरीके से मुझे घेर लिया और उनकी मंशा मुझ पर शारीरिक तौर पर हमला करने की थी। वे मुझ पर हमला करने की योजना बना रहे थे और अपशब्द बोल रहे थे।’’ उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय के सुरक्षाकर्मियों ने तथा सादे कपड़ों में तैनात पुलिसकर्मियों ने मुझे बचा लिया और छात्रों को सुरक्षा वाहन में बिठा कर उन्हें दूर ले जाने का प्रयास किया, लेकिन भीड़ ने ऐसा नहीं करने दिया। कुमार ने बताया, ‘‘मैं वाहन से उतर गया और भीड़ से 20-30 मीटर आगे बढ़ गया।’’

कार क्षतिग्रस्त: वीसी ने बताया, ‘‘इसके बाद मैं अपनी कार में सवार हुआ । उन्होंने कार को क्षतिग्रस्त कर दिया और कार को आगे नहीं जाने दिया। चालक ने बुद्धिमता दिखायी और पिछले गियर में लिया तथा मुझे बचा लिया।’’ कुलपति ने बताया कि उनके जाने के बाद छात्रों ने प्रशासनिक खंड में प्रवेश किया और वहां तोड़-फोड़ की जो दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश का उल्लंघन है। आदेश में कहा गया है कि प्रशासनिक खंड के 100 मीटर के दायरे में प्रदर्शन करना निषेध है। इन आरोपों पर जेएनयू छात्र संघ ने कहा कि कुलपति ‘‘जिन्होंने छात्रों के साथ कोई बातचीत नहीं की’’, आज शाम ‘स्कूल ऑफ आर्ट एंड एस्थेटिक्स’ में आए और वहां छात्रों ने उनसे शुल्क बढ़ोतरी के बारे में सवाल पूछे।

छात्र संघ का बयान: छात्रों ने एक बयान में कहा, ‘‘सवालों के जवाब देने के बजाय वह (वीसी) मौके से भाग गए। यह शर्मनाक है कि वहां से जाने के दौरान उनकी कार ने एक छात्र को कुचलने की कोशिश की, जबकि अन्य छात्रों को घायल कर दिया, लेकिन वापस जाने के बाद वह पूरी तरह से झूठ बोल रहे हैं।’’ गौरतलब है कि जेएनयू में छात्रावास शुल्क बढ़ाने के विरोध में पिछले डेढ़ महीने से विरोध प्रदर्शन जारी हैं और छात्रों ने परीक्षाओं का बहिष्कार किया है।