राज्यसभा में शुक्रवार को एक बार फिर जेएनयू विवाद और रोहित वेमुला आत्महत्या मामले पर तीखी बहस हुई। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के नेता सीताराम येचुरी ने बीजेपी पर कई बार हमले किए। बहस के दौरान येचुरी ने यहां तक दावा कर दिया कि अटल बिहारी वाजपेयी ने देश की पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को दुर्गा कहकर पुकारा था, लेकिन उन्होंने इसे स्वीकार करने से इनकार कर दिया था, क्योंकि बहुत से दलित महिषासुर की पूजा करते हैं। उन्होंने जैसे ही यह बात कही, लीडर ऑफ हाउस अरुण जेटली खड़े हो गए। उन्होंने कहा कि येचुरी की कही एक-एक बात को रिकॉर्ड पर लिया जाए, क्योंकि एक जिम्मेदार नेता अगर कुछ बोलता है कि उसे तथ्यों के साथ बात करनी चाहिए। जेटली की बात सुनने के बाद येचुरी बीजेपी पर कई और तीखे हमले किए। उन्होंने कहा कि अच्छा हिंदू कौन है? इसका सर्टिफिकेट ये लोग देंगे क्या?
The statement was signed by #JNU students, it was not a mere pamphlet: Smriti Irani in RS over “Durga” issue
— ANI (@ANI_news) February 26, 2016
She quoted Macbeth : foul is fair and fair is foul. She is making all that is foul, fair: Sitaram Yechury about Smriti Irani in Rajya Sabha
— ANI (@ANI_news) February 26, 2016
Arun Jaitley to S. Yechury: Every word that the minister has spoken has been authenticated. If you have said something, authenticate that.
— ANI (@ANI_news) February 26, 2016
You have pushed the child to commit suicide, its virtually a murder-Sitaram Yechury in Rajya Sabha #RohithVemula
— ANI (@ANI_news) February 26, 2016
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कहां से आया महिषासुर का मुद्दा
आपको बता दें कि बुधवार को संसद में अपने भाषण के दौरान स्मृति ईरानी ने जेएनयू में बांटे गए कुछ पेम्फलेट को पढ़कर सुनाया था। ईरानी ने सदन में कहा था, ‘जेएनयू में महिषासुर शहीदी दिवस मनाया जाता है। मैं भगवान से माफी मांगती हूं कि मुझे यह पढ़ना पढ़ रहा है।’ इसके बाद उन्होंने पेम्फलेट में देवी दुर्गा के लिए लिखे कई आपत्तिजनक शब्द पढ़ते हुए पूछा था, कि क्या कोलकाता की गलियों में मां दुर्गा के बारे में कोई ऐसी बातें सुनना चाहेगा?