देशभर में 16 जनवरी से कोविड-19 टीकाकरण अभियान की शुरुआत होगी। शनिवार को केंद्र सरकार ने एक प्रेस रिलीज में इसकी अधिसूचना दी। इसके अनुसार करीब तीन करोड़ स्वास्थ्यकर्मियों और फ्रंटलाइन वर्कर्स को पहले प्राथमिकता दी जाएगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा कोविड-19 की परिस्थितियों और तैयारियों की समीक्षा किए जाने के बाद यह निर्णय लिया गया।

सरकार द्वारा जारी बयान के मुताबिक, ‘विस्तृत समीक्षा के बाद यह निर्णय लिया गया कि आने वाले त्योहारों लोहड़ी, मकर संक्रांति, पोंगल आदि के मद्देनजर कोविड-19 टीकाकरण अभियान 16 जनवरी 2021 से शुरू होगा।’ इसके मुताबिक स्वास्थ्यकर्मियों और फ्रंटलाइन वर्कर्स के बाद 50 वर्ष से अधिक आयु के लोगों और 50 वर्ष से कम आयुवर्ग के उन लोगों को प्राथमिकता दी जाएगी जोकि पहले ही अन्य बीमारियों से ग्रसित हैं, जिनकी संख्या करीब 27 करोड़ है।

सरकार ने कहा, ‘राष्ट्रीय नियामक ने दो टीकों (कोविशील्ड और कोवैक्सीन) को आपातकालीन उपयोग संबंधी मंजूरी अथवा तेज स्वीकृति प्रदान की है जोकि सुरक्षा एवं रोग प्रतिरोधक क्षमता प्रदान करने में सक्षम पाए गए हैं।’ स्वास्थ्य मंत्रालय के ताजा आंकड़ों के मुताबिक देश में वर्तमान में कोरोना वायरस संक्रमण के 2,24,190 मरीज एक्टिव हैं, जोकि अब तक सामने आए कुल मामलों का 2.16 फीसदी है। इस घातक वायरस के कारण अब तक 1.5 लाख से अधिक लोग जान गंवा चुके हैं।

इधर स्वास्थ्य मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि 15 राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों में संक्रमण की पुष्टि की दर राष्ट्रीय औसत 5.79 प्रतिशत से कम है और बिहार में सबसे कम पुष्टि दर 1.44 प्रतिशत है। मंत्रालय ने आज जारी एक बयान में कहा कि देश में अब तक कोविड-19 का पता लगाने के लिए कुल 18 करोड़ से अधिक नमूनों की जांच की जा चुकी है और पिछले 24 घंटे में ही नौ लाख से अधिक नमूनों का परीक्षण किया गया। मंत्रालय ने कहा कि भारत में प्रति दस लाख आबादी पर जांच (टीपीएम) आज 1,30,618.3 है।

उसने कहा, ‘जांच के बुनियादी ढांचे में वृद्धि के साथ, टीपीएम में भी तेजी से वृद्धि हुई है।’ स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि 15 राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों में संक्रमण की पुष्टि की दर राष्ट्रीय औसत 5.79 प्रतिशत से कम है और बिहार में सबसे कम पुष्टि दर 1.44 प्रतिशत है। इन 15 राज्यों में बिहार, उत्तर प्रदेश, मिजोरम, झारखंड, गुजरात, दमन और दीव, असम, पंजाब, अंडमान निकोबार द्वीप समूह, ओडिशा, तेलंगाना, उत्तराखंड, मध्यप्रदेश, मेघालय और जम्मू- कश्मीर शामिल हैं। (एजेंसी इनपुट)