Aryan Drug Case: ऑर्यन ड्रग्स केस मामले में अफसरों की भूमिका संदिग्ध दिखाई दी है। एनसीबी की विजिलेंस टीम ने बॉलीवुड एक्टर शाहरुख खान के बेटे ऑर्यन खान के मामले में रिपोर्ट दिल्ली एनसीबी दफ्तर को भेज दी है। इस रिपोर्ट में ये पाया गया है कि जांच में शामिल अधिकारियों ने अपने काम में काफी अनियमितता बरती हैं। इसके अलावा जांच में शामिल अधिकारियों की नियत पर भी सवाल उठाए गए हैं। कुल मिलाकर इस मामले में 65 लोगों के बयान लिए गए हैं जिसमें से कुछ लोगों ने अपने बयान को 3-4 बदला भी है।
वहीं जांच टीम का कहना है कि आर्यन खान मामले में जांच के दौरान कई और भी लापरवाहियां सामने आईं हैं। एनडीटीवी के मुताबिक इन सभी मामलों में रिपोर्ट भेज दी गई है। इस जांच में कुछ लोगों के खिलाफ ऐसी बातें भी सामने आईं हैं कि कुछ टारगेटेड लोगों से पूछताछ की गई इसमें एनसीबी के 7-8 अधिकारियों की भूमिका भी संदिग्ध दिखाई दे रही है, जिसकी ऑफीशियल इंक्वाइरी भी शुरू हो गई है। जो लोग एनसीबी के बाहर है उनके खिलाफ करवाई करने के लिए वरिष्ठ अधिकारियों से इजाजत मांगी गई है।
जांच एजेंसी के सामने ये दूसरी बड़ी शर्मिंदगी
मई महीने के बाद हुए एक और ऐसे खुलासे के बाद जांच एजेंसी के लिए ये दूसरी बड़ी शर्मिंदगी है, जब उन्होंने आर्यन की सनसनीखेज गिरफ्तारी और तीन सप्ताह से अधिक जेल में बिताने के आठ महीने बाद आर्यन खान को सभी आरोपों से मुक्त कर दिया गया था और एनसीबी ने इस बात को स्वीकार किया था कि वो आर्यन के खिलाफ सबूत खोजने में सक्षम नहीं थे।
आर्यन खान गिरफ्तार किए गए 20 लोगों में शामिल
सूत्रों ने बताया कि जांच के आरोप में जबरन वसूली की बोली लगाई गई थी और आर्यन खान और अन्य प्रभावशाली लोगों को टारगेट किया गया था। इस मामले को तूल देने के लिए पैसों की मांग की गई थी हालांकि इस बात की पुष्टि नहीं हो पाई, लेकिन यह पाया गया कि कुछ चुनिंदा लोगों को निशाना बनाया गया था। आर्यन खान उन 20 लोगों में शामिल थे जिन्हें पिछले अक्टूबर में मुंबई के एक क्रूज जहाज से गिरफ्तार किया गया था और गिरफ्तार किए गए कुछ लोगों पर ड्रग्स भी पाए गए थे।
