राज्यसभा चुनाव 2024 (Rajya Sabha Election 2024) में हिमाचल प्रदेश की सत्ताधारी पार्टी कांग्रेस (Congress) को बड़ा झटका लगा है। जहां पार्टी लाइन से हटकर कांग्रेस के 6 विधायकों ने बीजेपी (BJP) प्रत्याशी हर्ष महाजन के पक्ष में क्रॉस वोटिंग कर दी है। इसके चलते कांग्रेस के राज्यसभा प्रत्याशी अभिषेक मनु सिंघवी (Abhishek Manu Singhvi) हार गए हैं। जरूरी विधायकों की संख्या और राज्य में सरकार होने के बावजूद कांग्रेस प्रत्याशी की हार बताती है कि लोकसभा चुनावों में कांग्रेस की राह आसान नहीं होने वाली है।
अपने प्रत्याशी हर्ष महाजन की जीत को लेकर बीजेपी नेता और पूर्व सीएम जयराम ठाकुर ने दावा किया है कि जहां जीत की संभावना नहीं थी वहां हमने जीत हासिल की। उन्होंने कहा कि हम बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का धन्यवाद करते हैं। उन्होंने कहा कि अब सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू को इस्तीफा दे देना चाहिए।
अब एक बड़ा सवाल यह है कि जब बीजेपी प्रत्याशी हर्ष महाजन और कांग्रेस प्रत्याशी अभिषेक मनु सिंघवी, दोनों के ही लिए 34-34 वोट पड़े, तो फिर जीत बीजेपी की कैसे हो गई। इसको लेकर खुद अभिषेक मनु सिंघवी ने खुद पूरी जानकारी दी है।
अभिषेक मनु सिंघवी ने बताई प्रक्रिया
अभिषेक मनु सिंघवी ने बताया कि नंबर बराबर होने की स्थिति में वोटिंग अधिकारी ने दोनों ही प्रत्याशियों के नाम अलग-अलग पर्ची में लिखकर एक बॉक्स में डाले गए और उन्हें अच्छे से फोल्ड करके उसे खूब उलटा पलटा गया। इसके बाद खोलकर एक नाम निकाला गया, जो कि सिंघवी का निकला। नियम के मुताबिक बक्से के अंदर बीजेपी प्रत्याशी का नाम था और इसी से हर्ष महाजन की जीत तय हो गई।
राज्यसभा प्रत्याशी हर्ष महाजन की जीत पर बीजेपी कार्यकर्ताओं ने जय श्री राम के नारे लगाए। उन्होंने जयराम ठाकुर को गोद में उठा लिया। बीजेपी ने दावा किया कि राज्य की सुखविंदर सिंह सुक्खू की सरकार के पास बहुमत नहीं है। वहीं इससे पहले मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने दावा किया था कि बीजेपी ने उनके 5-6 विधायकों को हरियाणा पुलिस और सीआऱपीएफ की मदद से उठा कर पंचकूला ले गई है।
सुबह ही सीएम सुक्खू कॉन्फिडेंट नहीं लग रहे थे। हालांकि उन्होंने सुबह यह दावा किया था कि कांग्रेस प्रत्याशी आसानी से चुनाव जीतेंगे लेकिन नतीजे आने के बाद अभिषेक मनु सिंघवी की हार घोषित हो गई है।
