हरियाणा विधानसभा के चुनावों का ऐलान हो गया है। निर्वाचन आयोग ने घोषणा की है कि 1 अक्टूबर को एक चरण में ही राज्य की 90 विधानसभा सीटों पर वोटिंग होगी। जबकि वोटों की गिनती 4 अक्टूबर को की जाएगी। इसका मतलब साफ है कि 4 अक्टूबर को यह तय हो जाएगा कि राज्य की सत्ता अगले पांच साल किसके पास रहने वाली है। पिछले 10 साल से राज्य में बीजेपी की सरकार है।

जहां 9 साल से अधिक समय तक राज्य के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर थे लेकिन बीते लोकसभा चुनाव के पहले ही उन्होंने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देकर लोकसभा का चुनाव लड़ा और वह लोकसभा चुनाव में करनाल से जीत केंद्र सरकार में मंत्री बने हैं। जबकि नए मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी है। अब उन्हीं के कंधों पर बीजेपी की नाव है। इसके उलट पिछले 10 साल से कांग्रेस विपक्ष में है। तो इस चुनाव में कांग्रेस सत्ता में आने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगाएगी। कांग्रेस बीते लोकसभा चुनाव में काफी मजबूत देखी गई है। राज्य की लोकसभा की 10 सीटों में से 5 सीटों पर जीत दर्ज की है। 

हरियाणा विधानसभा की वर्तमान स्थिति को देखे तो सत्तारूढ़ बीजेपी के पास 41 विधायक हैं। वहीं विधानसभा में मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस के पास 29 विधायक हैं। जबकि जननायक जनता पार्टी के 10 विधायक हैं। हरियाणा लोकहित पार्टी और इंडियन नेशनल लोक दल के पास 1-1 विधायक हैं। इसके अलावा 5 निर्दलीय हैं वहीं तीन विधानसभा की सीटें अभी खाली हैं।

दुष्यंत चौटाला बने थे किंग मेकर

पिछले विधानसभा चुनाव में दुष्यंत चौटाला के नेतृत्व वाली जननायक जनता पार्टी ने 10 सीटों पर जीतकर निर्णायक भूमिका निभाई थी। इसी वजह से बीजेपी के साथ गठबंधन करके दुष्यंत चौटाला करीब साढ़े चार साल तक राज्य के उप मुख्यमंत्री बने रहे। हालांकि लोकसभा चुनाव को लेकर दोनों पार्टियों के बीच गठबंधन टूटा।

2014 में बीजेपी को मिली था राज्य की सत्ता

वहीं साल 2014 में हुए विधानसभा चुनाव की बात करें तो भाजपा को सत्ता हासिल हुई। पार्टी ने राज्य की 90 विधानसभा में से 47 सीटों पर जीत दर्ज की थी जबकि इंडियन नेशनल लोकदल के खाते में 19 सीटें आई थीं। कांग्रेस ने 15 सीटों पर जीत दर्ज की थी। जबकि पांच निर्दलीय विधायक जीत दर्ज करने में कामयाब रहे। जबकि हरियाणा जनहित कांग्रेस 2, बहुजन समाज पार्टी और शिरोमणि अकाली दल ने 1-1 सीट जीते।

2009 में कांग्रेस ने निर्दलीयों के साथ बनाई थी सरकार

अगर 2009 में हुए हरियाणा विधानसभा चुनाव की बात करें तो कांग्रेस पार्टी ने निर्दलीयों के साथ मिलकर सरकार बनाई। इस चुनाव में कांग्रेस के 40 विधायक जीते। इंडियन नेशनल लोकदल मुख्य विपक्षी पार्टी बनी। जिसके खाते में 31 विधानसभा आई। हरियाणा जनहित कांग्रेस के 6, बीजेपी के 4 बहुजन समाज पार्टी और शिरोमणि अकाली दल के 1-1  विधायक चुने गए थे।