Daily Wages Rate Hike: केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने श्रमिकों के मजदूरी दर को लेकर बड़ा फैसला किया है। सरकार ने न्यूनतम मजदूरी दर बढ़ाकर 1,035 रुपये प्रतिदिन तक करने की घोषणा की है। इसके अलावा सरकार ने वेरिएबल डीयरनेस अलाउंस (VDA) में भी बढ़ोतरी की है। मजदूरी की बढ़ी हुई दरें 1 अक्टूबर से लागू होगी। ध्यान देने वाली बात यह है कि श्रमिकों की न्यूनतम मजदूरी दरों में संशोधन अप्रैल 2024 में हुआ था। सरकार का कहना है कि महंगाई से निपटने के लिए यह फैसला किया है।
केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्रालय द्वारा किए गए ऐलान के अनुसार, केंद्र ने श्रमिकों- खासकर असंगठित क्षेत्र के मजदूरों के लिए वेरिएबल डीयरनेस अलाउंस (VDA) में संशोधन करके न्यूनतम मजदूरी को बढ़ाने का ऐलान किया है। ध्यान देने वाली बात यह भी है कि सरकार साल में दो बार श्रमिकों की आय में संशोधन करती है।
सरकार ने बनाई चार कैटेगरी
गौरतलब है कि न्यूनतम मजदूरी दरों को श्रम मंत्रालय ने स्किल और एक्सपीरिएंस के आधार चार कैटेगरी में डिवाइड किया है। इसके तहत अकुशल, अर्ध-कुशल, कुशल और अत्यधिक कुशल) पर A, B और C कैटेगरी शामिल हैं। इसके तहत अकुशल, अर्ध-कुशल, कुशल और अत्यधिक कुशल) पर A, B और C कैटेगरी में वर्गीकृत किया है। इन्हीं के आधार पर डेली वेजेस में बढ़ोतरी की गई है।
किसके लिए कितनी होगी मजदूरी?
सरकार द्वारा किए गए ऐलान के बाद औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) में 2.40 अंकों की बढ़ोतरी हुई है। संशोधन के बाद कंस्ट्रक्शन क्षेत्र में काम करने वाले अकुशल श्रमिकों के लिए न्यूनतम मजदूरी 783 रुपये प्रतिदिन (20,358 मंथली) होगी।
अर्ध-कुशल श्रमिकों के लिए यह 868 रुपये प्रतिदिन (22,568 रुपये मंथली) की गई है। कुशल, लिपिक और बिना हथियार वाले चौकीदारों के लिए यह 954 रुपये प्रतिदिन (24,804 रुपये मंथली) होगी। अधिक कुशल और हथियारों से लैस चौकीदारों के लिए यह 1,035 रुपये प्रतिदिन (26,910 रुपये मंथली) होगी।
सरकार के इस फैसले से किसे होगा फायदा?
सरकार द्वारा डेली वेज में बढ़ोतरी के चलते बड़े स्तर पर देश के असंगठित क्षेत्र के मजदूरों को फायदा होगा। इसमें भवन निर्माण, लोडिंग और अनलोडिंग, वॉच एंड वार्ड, स्वीपिंग, हाउसकीपिंग, सफ़ाई, खनन और कृषि समेत कई क्षेत्रों के मजदूर शामिल हैं।