भाजपा नेता सुधांशु मित्तल द्वारा लिखी गई किताब ‘आरएसएस : बिल्डिंग इंडिया थ्रू सेवा’ के विमोचन के दौरान केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने सुधांशु मित्तल को लेकर दिलचस्प बात बताई। वह उन्हें लंबे समय से जानती हैं। मित्तल ने साल 2014 के  लोकसभा चुनाव का जिक्र करते हुए बताया कि जब ईरानी को अमेठी भेजा गया तो किसी को उम्मीद नहीं थी कि कांग्रेस के गढ़ में ईरानी इतनी अच्छी छाप छोड़ेंगी और कांग्रेस के गढ़ में इतनी चोट कर पाएंगी। उन्होंने कहा कि ईरानी काफी जूझारू हैं। ईरानी खुद देखेंगी कि वह 2019 में चुनाव जीत जाएंगी। सुधांशु मित्तल के बोलने के बाद जब स्मृति मंच पर बोलने आईं तो उन्होंने कहा कि सुधांशु मित्तल टाइम बम हैं, पार्टी ने अभी अमेठी से बीजेपी उम्मीदवार तय नहीं किया है।

किताब के विमोचन के दौरान स्मृति ईरानी ने अभिनंदन की वापसी का श्रेय पीएम मोदी के पराक्रम को दिया। उन्होंने कहा कि संघ (आरएसएस) को आज इस बात पर गर्व हो सकता है कि भारत का सपूत (आरएसएस के) स्वयंसेवक के पराक्रम के चलते 48 घंटे के अंदर ही भारत लौट रहा है।मित्तल की इस किताब में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के इतिहास, विचारधारा, नीतियों और उसके राष्ट्र पर पड़े प्रभाव का विश्लेषण किया गया है। मित्तल का कहना है कि उनकी यह किताब संघ के प्रति बनाई गई धारणाओं को मिथकों को तोड़ना है।

इस मौके पर आरएसएस के सह सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले का कहना है कि इस समय देशभक्ति में लोग उछाल महसूस कर रहे हैं। इतना ही नहीं उन्होंने कहा कि  आरएसएस(राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ) का को कोई दुश्मन नहीं है लेकिन देश का दुश्मन आएरएस का दुश्मन है। संघ  देश में समाजसेवा कर रहा है। उन्होंने कहा कि आरएसएस का आकलन सुनी सुनाई बातों पर नहीं बल्कि उसके द्वारा किए गए कार्यों के आधार पर होना चाहिए। उन्होंने कहा कि संघ के कार्य की चर्चा दुनियाभर में हो रही है और संघ के कार्यों पर शोध हो रहे हैं।