चक्रवाती तूफान असानी की दस्तक के बीच आंध्र प्रदेश के तटीय इलाकों गुंटूर और कृष्णा जिलों में ‘रेड’ अलर्ट जारी कर दिया गया है, जबकि गोदावरी और श्रीकाकुलम समेत तीन स्थानों पर “यलो” अलर्ट जारी किया है।
इस बीच, खबर है कि केरल और तमिलनाडु में इस चक्रवाती तूफान की वजह से भारी बारिश हो रही है। दरअसल, मंगलवार से इन दोनों स्थानों पर अधिक पानी गिरा है। इस बीच मध्य महाराष्ट्र और दक्षिणी कोंकण में गुरुवार को बादल छाए रहने की संभावना जताई गई है।
इस तूफान का चक्रवात असानी क्यों रखा गया नाम?: दरअसल, चक्रवात का यह नाम श्रीलंका ने दिया है। सिन्हलीज़ में इसका मतलब “गुस्सा” होता है। तूफानों का नाम कैसे और किस आधार पर तय होता है? यह समझने के लिए हमें थोड़ा पीछे जाना होगा। दरअसल, आज से करीब 2000 साल पहले कुछ मुल्कों के समूह डब्ल्यूएचओ/एसकैप (World Meteorological Organisation/United Nations Economic and Social Commission for Asia and the Pacific) ने चक्रवाती तूफानों के नाम तय करना शुरू कर दिया था। ऐसे देशों की सूची में बांग्लादेश, भारत, मालदीव, म्यांमार, ओमान, पाकिस्तान, श्रीलंका और थाईलैंड शामिल हैं। नाम को लेकर हर मुल्क अपने सुझाव भेजता है, जबकि बारी-बारी से हर देश के नाम अमल में लाए जाते हैं।
चक्रवाती तूफान के कारण कई शहरों में तेज बारिश और सड़कों पर पेड़ों के गिरने से रास्ता बाधित होने से आम लोगों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। दूसरी तरफ दिल्ली समेत कई राज्यों में तापमान में गिरावट दर्ज की गई है।
तूफान की वजह से बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़ में 11 से 13 मई तक बारिश होने और तेज हवाएं चलने के आसार हैं। उधर, तूफान से के चलते मंगलवार को आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम एयरपोर्ट से उड़ान भरने और लैंड करने वाली 23 फ्लाइटों को कैंसिल कर दिया गया था। चेन्नई एयरपोर्ट ने भी 10 फ्लाइटें कैंसिल की हैं। इनमें हैदराबाद, विशाखापट्टनम, जयपुर और मुंबई जाने वाली फ्लाइटें शामिल हैं।
कृष्णा जिले के डीसी रंजीत भाषा ने कहा है कि “चक्रवात विशाखापत्तनम और काकीनाडा को हिट कर रहा है। वहां भारी बारिश की उम्मीद है। हवा की गति 80 किमी प्रति घंटे तक जा सकती है। निचले इलाकों के लोगों को अलर्ट कर दिया गया है। सभी को समुद्र में न जाने की सलाह दी गई है। कलेक्ट्रेट, आरटीओ कार्यालयों और मंडल कार्यालयों में नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं।”
असानी तूफान का असर मध्य प्रदेश में भी दिखने लगा। इसकी वजह से राज्य में तेज हवाएं चल रही हैं और तापमान में गिरावट दर्ज की गई है। उधर, ओडिसा से लगे छत्तीसगढ़ के बस्तर और रायपुर संभाग में भी तूफान का सबसे असर दिखने की संभावना है। रायपुर और बस्तर संभाग के ओडिसा से लगे क्षेत्रों में हल्की से मध्यम बारिश के साथ ही कहीं कहीं बिजली गिरने की भी आशंका जताई जा रही है।
असानी तूफान के कारण तेज हवाओं से आंध्र प्रदेश के कई शहरों में पेड़ जड़ से उखड़ गए हैं। राष्ट्रीय राजमार्ग पर कई जगह पेड़ गिरने से रास्ते ब्लाक हो गए हैं।
पिछले कई दिनों से प्रचंड गर्मी का सामना करने के बाद दिल्ली में चक्रवाती तूफान असानी के कारण नम और ठंडी पुरवाई हवाएं चलने लगी हैं। चक्रवात प्रभाव शहर को कम से कम दो और दिनों के लिए मौजूदा हीटवेव से बचाएगा
आईएमडी के मुताबिक, गंभीर चक्रवाती तूफान असानी पहले के मुकाबले कमजोर पड़ गया है। यह अब उत्तरी तट आंध्र प्रदेश की ओर बढ़ रहा है। सूबे के नरसापुर में यह 34 किमी की रफ्तार से बढ़ रहा है, जबकि 85 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से तेज हवाएं चल रही हैं, जिसके साथ भारी बारिश भी हो रही है।
आंध्र प्रदेश में विशाखापत्तनम से तट के किनारे सुबह 10 बजे के आसपास तेज हवाएं चलती देखी गईं। मौसम विभाग के मुताबिक, चक्रवात उत्तर पश्चिमी दिशा की ओर अगले कुछ घंटों में बढ़ सकता है, जबकि वह इसके बाद पश्चिमी केंद्रीय बंगाल की खाड़ी के नजदीक जाकर आंध्र के तट की ओर जा सकता है।
बंगाल की खाड़ी में बना चक्रवाती तूफान असानी के बुधवार को आंध्र प्रदेश के तट के पास आने की संभावना है। हालांकि, इसके लैंडफॉल बनने की संभावना नहीं है, और यह धीरे-धीरे उत्तर-उत्तर-पूर्व की ओर मुड़ सकता है और नरसापुर, यनम, काकीनाडा, तुनी और विशाखापत्तनम तटों के साथ आगे बढ़ सकता है और आज रात तक पश्चिम-मध्य बंगाल की खाड़ी में उभर सकता है।
तटीय आंध्र के गुंटूर और कृष्णा जिलों में बहुत भारी बारिश की चेतावनी देते हुए 'रेड' अलर्ट जारी किया गया है। श्रीकाकुलम, विजयनगरम और गोदावरी जिलों में 'येलो' अलर्ट जारी किया गया है।
हरियाणा में मौसम में उतार-चढाव का दौर बना हुआ है। इसकी वजह से तापमान कभी ऊपर और कभी नीचे हो रहा है। तापमान में बढ़ोतरी से वातावरण में अस्थिरता बना हुआ है। बीच-बीच में हल्के बादल व धूलभरी पश्चिमी हवाएं चलने की संभावना है। इससे पहले ही मौसम विज्ञानियों ने मौसम खुश्क रहने के संकेत दिए थे। प्रदेश में कुछ क्षेत्रों में दिन और रात्रि के तापमान में कमी देखी गई थी।
