Supreme Court: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सोमवार(17 अक्टूबर) को सुप्रीम कोर्ट के अगले मुख्य न्यायाधीश के लिए जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ के नाम पर मुहर लगाई है। बता दें कि जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ के नाम की सिफारिश मौजूदा मुख्य न्यायाधीश यूयू ललित ने की थी। सीजेआई यूयू ललित 9 नवंबर को रिटायर हो रहे हैं, ऐसे में 9 नवंबर को जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ अपना कार्यभार संभालेंगे।
बता दें कि जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ देश के 50वें सीजेआई होंगे। इस संबंध में कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने ट्वीट कर जानकारी दी है। मालूम हो कि जस्टिस चंद्रचूड़ के नाम की सिफारिश केंद्र को भेजने से पहले चीफ जस्टिस यूयू ललित ने सुप्रीम कोर्ट के सभी जजों की बैठक बुलाई थी। जहां इसपर चर्चा की गई और परंपरा के अनुसार उन्होंने केंद्र को पत्र भेजा। जिसपर अंतिम मुहर लगाने के लिए राष्ट्रपति के पास भेजा गया।
गौरतलब है कि जस्टिस यूयू ललित के बाद जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ अभी दूसरे वरिष्ठतम जज हैं। वहीं जस्टिस चंद्रचूड़ के पिता की बात करें तो यशवंत विष्णु चंद्रचूड़ भी देश के मुख्य न्यायाधीश रह चुके हैं। सुप्रीम कोर्ट के इतिहास में यह पिता-पुत्र की जोड़ी है इकलौती है जो CJI के पद पर पहुंची है। डीवाई चंद्रचूड़ का कार्यकाल दो सालों का होगा और वह 10 नवंबर 2024 को सेवानृवित्त होंगे।
जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ अपनी कानून की पढ़ाई हार्वर्ड यूनिवर्सिटी से की है। इस विश्वविद्यालय से उन्होंने कानून में दो डिग्री हासिल की। सुप्रीम कोर्ट तक पहुंचने के सफर में जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ साल 2000 में बॉम्बे हाईकोर्ट के जज नियुक्त हुए थे। यहां उन्होंने 13 साल तक अपनी सेवाएं दीं। इसके बाद साल 2013 में वह इलाहाबाद हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश बनाए गए और 3 साल बाद उन्हें शीर्ष अदालत में नियुक्त किए गए।
बता दें कि न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड़ अयोध्या भूमि विवाद, निजता के अधिकार से संबंधित मामलों सहित कई संविधान पीठों और शीर्ष अदालत के ऐतिहासिक फैसलों का हिस्सा रहे हैं।