दिल्ली सरकार आवारा कुत्तों के लिए बड़े पैमाने पर नसबंदी और टीकाकरण कार्यक्रम शुरू करने की तैयारी में है। अधिकारियों ने बताया कि 78 सरकारी पशु चिकित्सालयों में से 24 टीकाकरण केंद्रों में बदलने की योजना है। यह कदम सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिल्ली-एनसीआर में आवारा कुत्तों को लेकर आए फैसले के बाद उठाया गया है। सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया है कि आवारा कुत्तों को पशु जन्म नियंत्रण (ABC) नियम, 2023 के अनुसार नसबंदी और टीकाकरण के बाद उसी क्षेत्र में वापस भेज दिया जाए जहां से उन्हें उठाया गया था।

कपिल मिश्रा ने की बैठक

अधिकारियों ने बताया कि डेवलपमेंट मिनिस्टर कपिल मिश्रा ने विभाग और पशु चिकित्सालयों के संबंधित अधिकारियों के साथ इस परियोजना के विवरण और तौर-तरीकों पर चर्चा करने के लिए कई बैठकें की हैं। एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी के अनुसार, “ABC नियमों का ठीक से पालन नहीं किया जा रहा है। इसके अलावा इस बात का कोई आँकड़ा उपलब्ध नहीं है कि प्रतिदिन, महीने या यहां तक कि वर्ष-दर-वर्ष कितने कुत्तों का टीकाकरण या नसबंदी की जाती है। इसलिए शहर में सुधारों की आवश्यकता है। सरकार अन्य शहरों, राज्यों और देशों में एबीसी नियमों के क्रियान्वयन का अध्ययन करेगी ताकि जमीनी स्तर पर स्थिति की निगरानी के लिए एक व्यापक मॉडल तैयार किया जा सके।”

टीम करेगी दौरा

अधिकारियों ने कहा कि वे विशेष रूप से इस बात का अध्ययन करेंगे कि लखनऊ ने एबीसी नियमों का सफलतापूर्वक क्रियान्वयन और निगरानी कैसे की है। अधिकारियों ने कहा कि सरकार जल्द ही एक सलाहकार नियुक्त करेगी जो उन पशु चिकित्सालयों और क्लीनिकों का विश्लेषण करेगा जिन्हें नसबंदी कार्यक्रम के लिए परिवर्तित किया जा सकता है।

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सरकार इस पहल के लिए दिशानिर्देश और मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) सहित एक नई नीति लाने की भी योजना बना रही है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “आवश्यक मशीनों, उपकरणों और एक केंद्र स्थापित करने की योजना है। नीति में नसबंदी पर व्यापक दिशानिर्देश शामिल होंगे।”

पशु प्रेमियों की भी ली जाएगी मदद

इसके अलावा सरकार सामूहिक नसबंदी अभियान में भाग लेने के लिए निजी पशु चिकित्सालयों, गैर सरकारी संगठनों और पशु प्रेमियों को भी शामिल करने की योजना बना रही है। अधिकारियों ने कहा, “जनशक्ति एक मुद्दा है। नीति को अंतिम रूप दिए जाने के बाद हम सरकारी और निजी दोनों पशु चिकित्सालयों में पशु और कुत्ते प्रेमियों को सामूहिक नसबंदी कार्यक्रम में स्वयंसेवा के लिए आमंत्रित करेंगे।”

अधिकारियों ने बताया कि कपिल मिश्रा आज इस संबंध में निजी अस्पतालों के साथ एक बैठक भी करेंगे। पिछले हफ़्ते मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने अधिकारियों को आवारा कुत्तों के ख़िलाफ़ कोई ‘कठोर कार्रवाई’ न करने का निर्देश दिया था। 2016 में हुई पिछली कुत्तों की जनगणना के अनुसार दिल्ली में आवारा कुत्तों की अनुमानित संख्या लगभग 8 लाख है।