तिब्बती धर्म गुरु दलाई लामा ने बड़ी टिप्पणी की है। उन्होंने कहा कि भारत और पाकिस्तान आज भी एक होते अगर जिन्ना को जवाहर लाल नेहरू की जगह भारत का प्रधानमंत्री बना दिया जाता। ये बातें चौदहवें दलाई लामा ने गोवा इंस्टीट्यूट आॅफ मैनेजमेंट में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहीं।
उन्होंने कहा,”महात्मा गांधी प्रधानमंत्री का पद जिन्ना को देना चाहते थे। लेकिन नेहरू ने उन्हें मना कर दिया। वह आत्मकेंद्रित थे। नेहरू ने गांधी से कहा मैं भारत का प्रधानमंत्री बनना चाहता हूं। भारत पाकिस्तान आज एक हो सकते थे अगर जिन्ना को प्रधानमंत्री बना दिया जाता। पंडित नेहरू बहुत अनुभवी थे। लेकिन गलतियां कई बार हो जाया करती हैं।”
#WATCH Dalai Lama says, “Mahatma Gandhi ji was very much willing to give Prime Ministership to Jinnah but Pandit Nehru refused.” pic.twitter.com/WBzqgdCJaJ
— ANI (@ANI) August 8, 2018
ये बातें दलाई लामा ने एक विद्यार्थी के पूछे सवाल के जवाब में कहीं। विद्यार्थी ने उनसे सवाल किया था कि कैसे कोई तय करे कि जो फैसला उसने लिया है, वह सही है और उससे वह गलतियां करने से बच सकता है। इसी सवाल का जवाब देते हुए दलाई लामा ने नेहरू को चुने जाने के फैसले का उदाहरण देते हुए कहा, ‘गलतियां कई बार हो जाया करती हैं।’
गौरतलब है कि साल 1959 में दलाई लामा तिब्बत से पलायन करके भारत आ गए थे। तिब्बत के लोगों ने आध्यात्मिक गुरू को दलाई लामा की उपाधि दी है। यह उपाधि उन लोगों को दी जाती है, जो गेलुग स्कूल के सर्वाधिक महत्वपूर्ण बौद्ध भिक्षुओं में एक माने जाते हैं। यह स्कूल तिब्बती बौद्ध मतावलंबियों का सबसे नया स्कूल है। दलाई लामा को साल 1989 में नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।