इम्यूनिटी बूस्टर कोरोनिल को लेकर योगगुरु बाबा रामदेव की मुश्किलें खत्म नहीं हो रही हैं। महाराष्ट्र सरकार के मंत्री ने बाबा रामदेव को चेतावनी दी है। महाराष्ट्र के खाद्य एवं औषधि प्रशासन मंत्री राजेंद्र शिंगने ने शुक्रवार को कहा कि योग गुरु रामदेव की कंपनी पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड द्वारा तैयार की गई दवा ‘कोरोनिल’ कोविड-19 का इलाज नहीं करती। उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि पतंजलि भ्रामक दावा कर राज्य के लोगों को गुमराह करेगी तो उस पर कार्रवाई की जाएगी।
मंत्री ने कहा कि यदि कोरोनिल के उत्पादकों द्वारा गलत दावे किए जाते हैं तो राज्य के गृह विभाग की मदद से औषधि और चमत्कारिक उपचार (आक्षेपणीय विज्ञापन) अधिनियम, 1954 के तहत कार्रवाई की जाएगी। एक आधिकारिक वक्तव्य में शिंगने ने कहा कि पतंजलि द्वारा बनाई गई दवा कोरोनिल से कोविड-19 का इलाज नहीं किया जा सकता।
उन्होंने कहा कि केंद्रीय आयुष मंत्रालय ने भी स्पष्ट किया है कि पतंजलि कोरोनिल को केवल रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाली दवा के रूप में ही बेच सकती है। शिंगने यह भी कहा कि लोग दवा के नाम की वजह से भी भ्रमित हो रहे हैं।
गौरतलब है कि 24 जून को उत्तराखंड आयुष विभाग ने पतंजलि को नोटिस जारी किया था और इस संबंध में 7 दिनों के भीतर जवाब मांगा था। उत्तराखंड के आयुष विभाग के लाइसेंस अधिकारी ने खुद सामने आते हुए कहा था कि उनकी ओर से पतंजलि को इम्युनिटी बूस्टर तैयार करने का लाइसेंस दिया गया था।
उनका कहना था कि पतंजलि ने अपने लाइसेंस में दवा तैयार करने की बात ही नहीं कही थी। पतंजलि आयुर्वेद पर कांग्रेस शासित राजस्थान और महाराष्ट्र की सरकारों ने भी शिकंजा कसा है। दोनों ही सरकारों ने कहा है कि यदि राज्य में पतंजलि की दवा का प्रचार होता है या फिर सेल होती है तो फिर कंपनी पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी।