गणतंत्र दिवस के दिन किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान राजधानी दिल्ली के कई इलाकों में किनसा हुई। इसे लेकर किसान नेताओं के सामने कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं। पुलिस ने हिंसा के सिलसिले में भारतीय किसान यूनियन (BKU) के प्रवक्ता राकेश टिकैत, स्वराज अभियान के योगेन्द्र यादव और मेधा पाटकर सहित 37 किसान नेताओं के खिलाफ नामजद प्राथमिकी दर्ज की है और उनके खिलाफ दंगा, आपराधिक षड्यंत्र, हत्या का प्रयास सहित भादंसं की विभिन्न धाराओं में आरोप लगाया है।

इसको लेकर राकेश टिकैत ने बीबीसी हिन्दी से बात की और कहा कि वे भगोड़े नहीं है, अगर उन्हें पूछताछ के लिए पुलिस बुलाएगी तो वे जरूर जाएंगे। टिकैत का कहना है कि पुलिस ने हमें जो रूट दिया था, वो भी बंद कर दिए गए थे। उनका आरोप है कि किसानों को भ्रमित किया गया और कुछ अवांछित तत्वों को जानबूझकर दिल्ली में आने दिया और फिर उनके लिए बैरिकेडिंग भी खोल दी।

टिकैत ने कहा “कल जो घटना हुई है उसमें प्रशासन की चाल थी। ये एक साजिश थी कि रूट को इस तरह से बनाओ कि किसान दिल्ली में घुस जाये। हमने उनसे कहा आप हमें रिंग रोड दे दो। उन्होने कहा हम रिंग रोड नहीं दे सकते। फिर हमने कहा अक्षरधाम वाला जो रूट है, एनएच 24 वही से हम जाएंगे उसी से वापस आ जाएंगे। उन्होने वो भी नहीं दिया। उन्होने कहा कि आप गाजीपुर से आनंद विहार से होते हुए सीधा निकला जाना। वहीं उन्होने तय किया और हमें चिट्ठी भेज दी।”

किसान नेता ने कहा “जब हम सुबह गए तो देखा उस रूट पर बैरिकेडिंग लगा राखी थी। झंडा फहराने के बारे में पूछे जाने पर टिकैत ने कहा, “मैं इस तरह की गतिविधि का समर्थन नहीं करता. हम ऐसा करने वालों के खिलाफ कार्रवाई करेंगे।” टिकट ने कहा “अगर पुलिस मुझे पूछताछ के लिए बुलाएगी तो जाऊंगा, पुलिस से थोड़ी न कोई भाग जाएगा। भगोड़े नहीं हूं।” टिकैत ने कहा है कि मैं जेल जाने को तैयार हूं, हिंसा में हाथ हो तो पुलिस कड़ी कार्रवाई करे।

बता दें पुलिस का कहना है कि ट्रैक्टर परेड में हिंसा में किसान नेताओं की भूमिका की जांच की जाएगी। हिंसा और तोड़-फोड़ में दिल्ली पुलिस के 394 कर्मी घायल हुए हैं जबकि एक प्रदर्शनकारी की मौत हुई है। पुलिस ने हिंसा के सिलसिले में अब तक 25 प्राथमिकी दर्ज की हैं। समयपुर बादली थाने में अज्ञात लोगों के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी के अनुसार, प्रदर्शनकारियों ने हिंसा के दौरान पुलिस से पिस्तौल, 10 गोलियां और आंसू गैस के दो गोले लूट लिए।


प्राथमिकी में जिन नेताओं को नामजद किया गया है, उनमें मेधा पाटकर, योगेन्द्र यादव, दर्शन पाल, गुरनाम सिंह चढूनी, राकेश टिकैत, कुलवंत सिंह संधू, सतनाम सिंह पन्नू, जोगिंदर सिंह उग्राहा, सुरजीत सिंह फूल, जगजीत सिंह डालेवाल, बलबीर सिंह राजेवाल और हरिंदर सिंह लाखोवाल शामिल हैं।