तमिलनाडु के चेन्नई में हाल ही में निजी स्कूल में स्टूडेंट्स ने ऑनलाइन क्लास ले रहे एक टीचर के खिलाफ अभद्रता का आरोप लगाया। अब इस मामले ने राजनीतिक मोड़ ले लिया है। दरअसल, इस मामले को पहले डीएमके की सांसद कनिमोझी ने उठाया। उन्होंने मामले की जांच के साथ इसमें शामिल सभी लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। साथ ही प्रबंधन को भी मामले पर ध्यान न देने के लिए धमकाया। अब इस मामले में भाजपा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी भी कूद गए हैं। उन्होंने कहा है कि एक टीचर की वजह से पूरे स्कूल प्रबंधन (जिसे ब्राह्मण चलाते हैं) को परेशान किया जा रहा है। और उन्हें स्कूल के बचाव में कूदना होगा।

क्या बोले सुब्रमण्यम स्वामी?: भाजपा सांसद ने कहा, “चेन्नई स्थित सम्मानीय पद्म शेषाद्री बाल भवन स्कूल में तीन शाखाओं में 10 हजार छात्र पढ़ते हैं और स्कूल का प्रबंधन ज्ञानी और त्यागी (ब्राह्मण) चलाते हैं। उन्हें डीएमके की तरफ से परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, क्योंकि एक टीचर ने छात्रा के साथ दुर्व्यवहार किया। अगर तमिलनाडु के मुख्यमंत्री गुंडों को नहीं रोकते, तो मुझे स्कूल के बचाव में उतरना होगा।”

क्या है पूरा मामला?: दरअसल, चेन्नई के इस स्कूल में मौजूदा छात्र-छात्राओं का आरोप है कि एक टीचर तौलिया पहनकर ऑनलाइन क्लास लेते थे और क्लास के दौरान ही स्टूडेंट्स को मैसेज भेजते थे। वहीं कुछ पूर्व स्टूडेंट्स ने भी इस टीचर पर गलत तरह से छूने और यौन उत्पीड़न तक का आरोप लगा दिया और कहा कि कई शिकायतों के बाद भी स्कूल प्रशासन ने कोई कार्रवाई नहीं की।

स्टूडेंट्स ने जारी की चिट्ठी, डीएमके सांसद बोलीं- किसी को नहीं छोड़ेंगे: स्टूडेंट्स ने इन आरोपों के साथ ही एक चिट्ठी लिखकर टीचर को सस्पेंड करने की मांग रख दी थी और इस घटना की जांच बाल संरक्षण के लिए बनाई गई समिति को सौंपने की मांग कर दी गई। इस चिट्ठी के वायरल होने के बाद डीएमके सांसद कनिमोझी ने ट्वीट कर कहा था कि पद्म शेषाद्रि स्कूल में कॉमर्स के टीचर के ऊपर लगे यौन शोषण के आरोप चौकाने वाले हैं। इस मामले की जांच होनी चाहिए। जो लोग भी शामिल हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। स्कूल के मैनेजमेंट के खिलाफ भी, जिसने स्टूडेंट्स से बार-बार मिली शिकायतों के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की। मैं वादा करती हूं कि यह मामला प्रशासन में बैठे लोगों तक लेकर जाउंगी।

डीन बोलीं- हमें कभी शिकायत नहीं मिली: हालांकि, स्कूल की डीन शीला राजेंद्रन ने भी इसके बाद बयान जारी कर साफ किया था कि जैसा कि बताया जा रहा है, उससे उलट इन आरोपों के बारे में कभी भी स्कूल मैनेजमेंट को जानकारी नहीं दी गई। उन्होंने यह भी कहा था कि इन आरोपों की निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से जांच की जाएगी।