दो बार ओलंपिक पदक जीतने वाले भारत के दिग्गज रेसलर सुशील कुमार ने दावा किया है कि उनके दस्तख़त का गलत इस्तेमाल किया गया है। सुशील के मुताबिक, स्कूल गेम्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (SGFI) के सेकेट्री जनरल ने उनके जाली दस्तख़त से लाखों की हेराफेरी की है। सुशील कुमार स्कूल गेम्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के प्रेसिडेंट हैं। उन्होंने SGFI के सेकेट्री जनरल राजेश मिश्रा के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाया है।

सुशील ने कहा, ‘‘मुझे SGFI में बड़ी गड़बड़ी का पता चला है। मैंने सचिव के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 468, 471, 120 बी के तहत प्राथमिकी दर्ज की है। सेकेट्री जनरल चुनाव कराकर बच निकलना चाहते हैं। मैं अब इस मामले के तह तक पहुंच जाऊंगा।’’ सुशील ने सबसे पहले 30 नवंबर को इस बारे में बताया था। उन्होंने सेकेट्री जनरल से लिखित में इसे लेकर जवाब मांगा था, लेकिन राजेश मिश्रा ने कोई उत्तर नहीं दिया था।

सुशील ने बताया था कि मिश्रा ने नियमों में बदलाव करने वाले कागजों पर उनके दस्तखत किए थे। इससे वो सीईओ बने रहेंगे और अगले 10 साल तक उन्हें बिना दो-तिहाई बहुमत के उन्हें उनके पद से नहीं हटाया जा सकेगा। इन नियमों में बदलाव के बाद सुशील एक शक्तिहीन अध्यक्ष रह जाएंगे। सुशील ने कहा था, ‘‘12 नवंबर को मुझे खेल मंत्रालय की ओर से एक लेटर मिला, जिसमें SGFI मिश्रा के खिलाफ लोगों ने जो शिकायत की थी उस पर मेरी राय मांगी गई थी। उसी दौरान मुझे फर्जी दस्तखत दिखे थे। इसे देखकर मैं हैरान हो गया था। राजेश मिश्रा ने जाली दस्तखत करके नियमों को अपनी सुविधा के लिए बदला था।’’

सुशील ने 2008 में हुए बीजिंग ओलंपिक में ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया था। इसके बाद 2012 में लंदन ओलंपिक ने उन्हें सिल्वर मेडल मिला था। उन्होंने 2010 में मॉस्को में हुए वर्ल्ड चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता था। कॉमनवेल्थ गेम्स 2010 (दिल्ली), 2014 (ग्लास्गो), 2018 (गोल्ड कोस्ट) में वो चैंपियन बने थे। 2006 (दोहा) एशियन गेम्स में उन्हें ब्रॉन्ज मेडल से संतोष करना पड़ा था। सुशील इसके अलावा एशियन चैंपियनशिप में एक गोल्ड, एक सिल्वर और दो ब्रॉन्ज जीत चुके हैं। उन्होंने कॉमनवेल्थ चैंपियनशिप में 5 गोल्ड और एक ब्रॉन्ड अपने नाम किया है।