टीम इंडिया का कोई कोच या चयनकर्ता बनता है तो सबसे पहले उसकी क्रिकेट कुंडली खंगाली जाती है। यह देखा जाता है कि वह कितना मैच खेला है। राहुल द्रविड़ की अगुआई वाले टीम इंडिया के सपोर्ट स्टाफ में एक ऐसा इंसान शामिल है, जिसने इंटरनेशनल क्रिकेट तो क्या घरेलू क्रिकेट तक नहीं खेला है। यह शख्स द्रविड़ एंड कंपनी का अभिन्न अंग है। वर्ल्ड कप 2023 के दौरान इंडियन ड्रेसिंग रूम में छाया रहा। मैच दर मैच खिलाड़ियों को गोल्ड मेडल देता रहा।
अगर आप सोच रहे हैं कि यह टीम इंडिया के फील्डिंग कोच टी दिलीप हैं तो आप सही हैं। वर्ल्ड कप में भारत के मैच के बाद हर कोई बेस्ट फील्डर वाले वीडियो का इंतजार करता था। मैच में बेहतरीन फील्डिंग करने वाले खिलाड़ी को गोल्ड मेडल दिया जाता था। मेडल देने का तरीका काफी अनोखा होता था। अब जब द्रविड़ एंड कंपनी को विस्तार मिला है तो ऐसे वीडियो भविष्य में भी देखने को मिलते रहेंगे।
इंडियन ड्रेसिंग रूम तक पहुंचने का सफर काफी रोमांचक
दिलीप का कोई क्रिकेट बैकग्राउंड नहीं है, ऐसे में इंडियन ड्रेसिंग रूम तक पहुंचने का उनका सफर काफी रोमांचक है। उन्होंने केवल टेनिस-बॉल क्रिकेट खेला है और काफी छोटी उम्र से ही कोचिंग में आ गए। सबसे पहले उन्हें आईपीएल में डेक्कन चार्जर्स के साथ काम करने का मौका मिला। इसके बाद उन्होंने हैदराबाद में एज ग्रुप एकेडमी में काम किया। अब आईपीएल में डेक्कन चार्जर्स की फ्रेंचाइजी नहीं है। इसमें उन्हें प्रसिद्ध बेसबॉल कोच माइक यंग के साथ काम करने का मौका मिला, जिन्होंने अतीत में ऑस्ट्रेलिया को कोचिंग दी थी।
बच्चों को गणित भी पढ़ाया
यहीं से टी दिलीप का ग्राफ ऊपर की ओर बढ़ता गया। क्रिकेट खेलने का कोई अनुभव नहीं होने के कारण दिलीप ने नेशनल क्रिकेट एकेडमी (NCA) में एक कोचिंग प्रोग्राम में दाखिला लिया। यहां उन्होंने भारत के पूर्व फील्डिंग कोच आर श्रीधर के साथ काम किया। यह वह समय था जब वह अपनी कोचिंग की पढ़ाई पूरी करने के लिए बच्चों को गणित का ट्यूशन देते थे। एक बार परीक्षा पास करने के बाद वह एनसीए में दिखने लगे।
केएल राहुल के साछ घंटों समय बिताया
ऑफ-सीजन के दौरान दिलीप एनसीए जोनल और एनवल कैम्प में हमेशा मौजूद रहते थे। इस दौरान उन्होंने द्रविड़ का ध्यान आकर्षित किया। हालांकि, द्रविड़ ने पांच अंडर-19 और ए टीमों के साथ अपने कार्यकाल के दौरान ज्यादातर अभय शर्मा के साथ काम किया। अभर फील्डिंग कोच हुआ करते थे, लेकिन पूर्व भारतीय कप्तान ने राष्ट्रीय टीम के लिए दिलीप को चुना। भारतीय टीम में आर श्रीधर द्वारा निर्धारित फील्डिंग बेंच मार्क को बनाए रखने के अलावा उनका योगदान केएल राहुल की विकेटकीपिंग में दिखता है। वह राहुल की पोजिशन को सही करने के लिए घंटों समय बिताते हैं।