इन दिनों क्रिकेट की दुनिया में टी20 लीग्स का चलन है। भारत में टी20 लीग आईपीएल के अलावा हर राज्य भी अपनी-अपनी लीग्स का आयोजन कर रहा है। तमिलनाडु की टीएनपीएल, दिल्ली की डीपीएल जैसी लीग्स शामिल हैं। हालांकि सुनील गावस्कर ने इन लीग्स को बेमतलब बताया है। गावस्कर का मानना है कि भारत के घरेलू क्रिकेट के बेहतर होने के लिए यह अहम है कि टीम इंडिया के स्टार खिलाड़ी भी रणजी ट्रॉफी का हिस्सा बने।
टीम इंडिया के खिलाड़ी खेलें घरेलू क्रिकेट
मिड में अपने कॉलम में सुनील गावस्कर ने लिखा, ‘अगर भारतीय क्रिकेट को मजबूत करना है तो यह जरूरी है कि घरेलू स्ट्रक्टर भी मजबूत हो। इसका मतलब है कि रेड बॉल टूर्नामेंट का शेड्यूल इस तरह तैयार किया जाए कि भारतीय टीम के स्टार खिलाड़ी रणजी ट्रॉफी और दलीप ट्रॉफी खेल पाए। अगर ऐसा नहीं होता है तो भारत के प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को कोई फायदा नहीं होगा। राज्यों की टी20 लीग्स इसका बड़ा उदाहरण है।’
गावस्कर ने बताया क्यों अहम नहीं टी20 लीग्स
गावस्कर ने बताया कि हर राज्य टी20 लीग्स कर रहा है लेकिन वहां प्रतियोगिता का स्तर बहुत अच्छा नहीं है। उन्होंने लिखा, ‘राज्यों की टी20 लीग्स में जो मैच होते हैं उसमें कुछ ही ऐसे खिलाड़ी होंगे जिनका करियर लंबा होगा। इन लीग्स में विकेट लेना और और रन बनाना बहुत बड़ी बात नहीं है। क्योंकि यहां क्रिकेट का स्तर ऊंचा नहीं है। कुछ भाग्यशाली खिलाड़ी होंगे जोकि आईपीएल के लिए चुने जाएंगे लेकिन करियर जल्दी खत्म हो जाएंगे। स्टेट लीग में उनका प्रदर्शन ऐसा ही है जैसा कि एसोसिएशट देशों में होता है।’
एसोसिएट देशों की मुख्य टीमों से नहीं हो सकती तुलना
उन्होंने आगे लिखा, ‘एसोसिएट देशों में कोई टीम 20 रन के स्कोर पर भी ऑलआउट हो जाती है। वहीं कुछ बल्लेबाज शतक और हर गेंद पर सिक्सर्स लगाते हैं। कोई युवराज सिंह के छह छक्के के रिकॉर्ड की बराबरी करता है तो कोई सबसे तेज अर्धशतक लगा देता है। यह गेम दो देशों के बीच खेले जा रहे है यह मैच इंटरनेशनल मुकाबले हैं लेकिन उनके स्तर की आप मुख्य टीमों के साथ तुलना नहीं कर सकते हैं।’