भारत और न्यूजीलैंड के बीच बुधवार, 15 नवंबर को वर्ल्ड कप 2023 का सेमीफाइनल मैच खेला जाएगा। कीवी टीम ने 2019 में भारत को हराकर वर्ल्ड कप से बाहर कर दिया था। चार साल बाद दोनों टीमें वानखेड़े में आमने-सामने होंगी इससे पहले रोहित शर्मा ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस की। इस दौरान उन्होंने न्यूजीलैंड की तारीफ की। वानखेड़े में टॉस के महत्व, सेमीफाइनल के दबाव समेत अन्य मुद्दों पर सवाल के जवाब दिए। उन्होंने कहा कि 2019 सेमीफाइनल की हार अतीत है। टीम का फोकस वर्तमान और भविष्य पर है।

आइए जानते हैं रोहित शर्मा के प्रेस क्रॉन्फ्रेंस की बड़ी बातें

न्यूजीलैंड काफी अनुशासित टीम है। वे क्रिकेट बहुत होशियारी से खेलते हैं। विपक्षी टीम को अच्छी तरह समझते हैं। कई वर्षों से लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं। 2015 के बाद से पिछले 6-7 वर्षों में संभवतः सभी आईसीसी टूर्नामेंटों के सेमीफाइनल और फाइनल में खेले हैं।

रोहित शर्मा ने कहा कि टीम को पता है कि न्यूजीलैंड के खिलाफ क्या चुनौती होगी और वे कैसा क्रिकेट खेलते हैं। हम सभी टीमों पर बारीकी से नजर रख रहे हैं। उनकी ताकत और कमजोरी पता है। इसी के आधार पर हम वहां जाकर खेल खेलने की कोशिश करते हैं।

टॉस को लकेर भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने कहा कि वह वानखेड़े में बहुत क्रिकेट खेले हैं। सिर्फ 5 या 6 मैच वानखेड़े के बारे में बहुत कुछ नहीं बताते। उनका मानना है कि मैच का परिणाम तय करन में कि टॉस की अहम भूमिका नहीं होगी।

भारत जब पहला विश्व कप (1983) जीता था, तब इस टीम के आधे खिलाड़ी जन्म भी नहीं थे। दूसरी बार विश्व कप (2011) जीते थे तब तो आधे खिलाड़ी खेल भी नहीं रहे थे। खिलाड़ी की वर्तमान के बारे में सोचते हैं। वह इस बारे में बात नहीं करते कि हमने पिछला या पहला विश्व कप कैसे जीता। फोकस इस बात पर है कि वे कैसे बेहतर हो सकते हैं और उन्हें कहां सुधार की जरूरत है।

2019 वर्ल्ड कप को लेकर रोहित शर्मा ने कहा कि पीछे क्या हुआ है हर कोई जानता है, लेकिन वह बीत चुका है। वर्तमान और भविष्य में क्या हो सकता है उस पर बात होती है। 10 साल पहले वर्ल्ड कप में क्या हुआ था या पिछले वर्ल्ड कप में क्या हुआ था इस पर चर्चा नहीं होती।

रोहित शर्मा ने दबाव को लेकर कहा कि यह वर्ल्ड कप है तो पहले मैच से ही दबाव है। हमने अच्छा प्रदर्शन किया है और दबाव का बेहतर सामना किया है। आगे भी हम वैसे ही खेलना चाहते हैं जैसा अबतक खेले हैं। हम अपने विरोधी टीम और मैच पर फोकस करेंगे।

हमसे उम्मीद की जाती है कि हम हर मैच जीते, शतक बनाए या 5 विकेट लें। हमें इसकी आदत हो चुकी है। हम खेल और विरोधी टीम पर ध्यान दे रहे हैं। हमने प्रयास किया है कि टीम का माहौल मैच के नतीजे से प्रभावित न हो। धर्मशाला में हमने फैशन शो जैसी कई टीम गतिविधियां कीं। हम निश्चिंत रहना चाहते हैं क्योंकि एक बार जब आप मैदान में होते हैं तो प्रदर्शन का दबाव होता है। यह व्यक्तियों पर निर्भर है कि वे मैच को किस तरह देखते हैं।

रोहित शर्मा ने कहा कि बतौर खिलाड़ी वह अपने सफर को लेकर नहीं सोच रहे हैं। वह 19 नवंबर के बाद ही इस पर ध्यान देंगे। तब तक टीम के प्रदर्शन पर ध्यान रहेगा। लीग स्टेज में 9 मैच बहुत होते हैं। अलग-अलग मैदान पर 9 टीमों के खिलाफ 9 मैच खेलने के लिए आपको अलग-अलग रणनीति बनानी पड़ती है। हमने बहुत अच्छा किया।

पहले चार मैचों में, हमने लक्ष्य का पीछा करते हुए जीत हासिल की, फिर बाकी मैच में हमने पहले बल्लेबाजी करते हुए जीत हासिल की। हमने अब तक जो किया है, उससे अलग हमें कुछ नहीं करना है। नीदरलैंड्स के खिलाफ पार्ट टाइम गेंदबाजों के इस्तेमाल पर कहा कि जब हार्दिक पंड्या चोटिल हुए तो हमारा संयोजन गड़बड़ा गया। हमारे पास विकल्प हैं, लेकिन मुझे उम्मीद है कि हमें उनकी जरूरत नहीं पड़ेगी। पिछली बार हम दूसरों से गेंदबाजी करवा सकते थे क्योंकि स्थिति हमें ऐसा करने देती थी।