भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व खिलाड़ी संजय बांगड़ ने कहा कि अगर केएल राहुल एशिया कप टूर्नामेंट में खेलने के लिए पर्याप्त फिटनेस हासिल नहीं कर पाते हैं तो भारत को उन्हें प्लेइंग इलेवन में शामिल करने का जोखिम नहीं उठाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर केएल राहुल के प्लेइंग इलेवन में अगर सिर्फ एक विशुद्ध बल्लेबाज के रूप में शामिल किया जाता है तो इससे टीम के संतुलन पर असर पड़ेगा। केएल राहुल को एशिया कप के लिए भारत की 17 सदस्यीय टीम में शामिल किया गया है, लेकिन उनकी निगल को देखते हुए टीम में संजू सैमसन को बैकअप विकेटकीपर के रूप में रखा गया है।

आधे फिट केएल राहुल को प्लेइंग इलेवन में शामिल करना होगा गलत फैसला

संजय बांगड़ ने स्टार स्पोर्टस पर बात करते हुए कहा कि भारत के टॉप 5 बल्लेबाजों में से कोई भी गेंदबाजी नहीं करता है और इसका मतलब यह है कि अगर आप 6 गेंदबाजी विकल्प चाहते हैं तो आपके पास टॉप 5 में एक खिलाड़ी ऐसा होना चाहिए जो गेंदबाजी कर सके या फिर उसे विकेटकीपर-बल्लेबाज होना चाहिए। इसकी वजह से ही मुझे लगता है कि अगर केएल राहुल विकेटकीपर-बल्लेबाज की भूमिका निभाते हैं तो मेरा मानना है कि इसके बाद ही उन्हें प्लेइंग इलेवन में शामिल किया जाना चाहिए। ऐसा होने से भारतीय टीम का संतुलन बना रहेगा। वहीं अगर केएल राहुल सिर्फ बल्लेबाज के तौर पर टीम में आते हैं तो आपको एक अतिरिक्त विकेटकीपर के साथ मैदान पर उतरना होगा और इस स्थिति में आपके पास 6 गेंदबाजी विकल्प नहीं होंगे।

संजय बांगड़ ने आगे कहा कि अगर केएल राहुल एक बल्लेबाज के रूप में फिट नहीं हैं तो इशान किशन ने कुछ भी गलत नहीं किया है क्योंकि वह एक बेहतर विकेटकीपर हैं और एक नियमित विकेटकीपर भी हैं। अब भारत 50 ओवर के प्रारूप में खुद को आजमाने जा रहा है तो आप चाहेंगे कि आपके पास एक फिट विकेटकीपर हो। मैं यहां पर चाहूंगा कि आप एक फिट और नंबर एक विकेटकीपर को शुरुआत एकादश में शामिल करें बजाए इसके कि कोई खिलाड़ी जो आधा फिट हो उसे टीम में शामिल किया जाए। आधा फिट खिलाड़ी के साथ फिर से घायल होने की संभावना है और रिस्क लेना सही नहीं होगा।