पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत की राजधानी क्वेटा में एक पोलियो टीकाकरण केंद्र के बाहर बुधवार को एक आत्मघाती हमलावर ने खुद को उड़ा लिया। इस धमाके में 15 लोगों की मौत हो गई है और 10 से अधिक लोग घायल हो गए हैं। धमाके में टीकाकरण केंद्र के बाहर खड़ी पुलिस वैन के परखचे उड़ गए। बलूचिस्तान के गृह मंत्री मीर सरफराज बुगती ने धमाके के बाद संवाददाताओं को बताया, ‘ऐसा लगता है कि धमाका आत्मघाती हमलावर ने किया।’ बाद में खुफिया सेवा के एक अधिकारी ने इस बात की पुष्टि की कि यह आत्मघाती हमला था।

पाकिस्तानी अखबार ‘डॉन’ के मुताबिक एक अधिकारी ने बताया, ‘सुरक्षा एजंसियों ने घटना की जांच शुरू करने के लिए आत्मघाती हमलावर के शरीर के टुकड़े इकट्ठे किए हैं।’ एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि मरने वालों में 12 पुलिसकर्मी, अर्द्धसैनिक बल का एक जवान और दो नागरिक शामिल हैं। तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान ने फेसबुक पोस्ट और पत्रकारों को भेजे ईमेल के जरिए इस हमले की जिम्मेदारी ली है। क्वेटा के पुलिस उप महानिरीक्षक सैयद इम्तियाज शाह ने कहा कि विस्फोट के लिए सात से आठ किलो विस्फोटक का इस्तेमाल किया गया। चश्मदीदों ने बताया कि उन्होंने इलाके में धमाके के बाद गोलीबारी की आवाज सुनी। घायलों को क्वेटा के सरकारी अस्पताल ले जाया गया जहां आपातकाल घोषित कर दिया गया है।

पुलिस और बचाव कार्यकर्ता धमाके के बाद मौके पर पहुंच गए और सुरक्षा बलों ने इलाके को घेर लिया है। बलूचिस्तान में क्वेटा और अन्य जिलों में सोमवार से तीन दिवसीय पोलियो रोधी अभियान चलाया जा रहा है जिसका बुधवार को तीसरा दिन था। इस अभियान के तहत पांच साल से कम उम्र के 24 लाख बच्चों का लक्ष्य रखा गया है। अभियान के तहत अफगान शरणार्थियों के 55,000 से अधिक बच्चों का भी टीकाकरण किया जाएगा। सुरक्षा सूत्रों ने बताया कि जिस केंद्र को निशाना बनाया गया वहां से पोलियो दलों को रवाना किया जा रहा था। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) की पोलियो प्रभावित देशों की सूची में बाकी रह गए दो देशों में से एक पाकिस्तान है। पाकिस्तान में पहले भी पोलियो कार्यकर्ताओं को निशाना बनाया गया है। यहां अफवाह फैलाई गई है कि पोलियो टीकाकरण अभियान जासूसी के लिए है और यह मुसलिमों के बंध्याकरण की साजिश भी है।