Pakistan News: पाकिस्तान के लिए बलूचिस्तान लंबे वक्त से मुसीबतों का सबब बनता रहा है क्योंकि यहां लोग सुरक्षाबलों के मनमाने रवैये को लेकर लगातार विरोध प्रदर्शन करते रहे हैं और अब तो ये लोग अलग देश तक की मांग कर रहे हैं। इन सबके बीच ऐसे ही एक विरोध प्रदर्शन को लेकर पाकिस्तान के मस्तंग क्षेत्र में फायरिंग की खबर सामने आई हैं, जिसमें 14 लोग बुरी तरह घायल हुए हैं और उनका इलाज जारी है। दूसरी ओर इस घटना को बलूचिस्तान की सरकार ने खारिज करते हुए महज एक अफवाह करार दिया है।

पाकिस्तानी न्यूज एजेंसी द डॉन की रिपोर्ट के हवाले से ANI ने बताया है कि बलूच यकजेहती समिति यानी BYC ने रविवार को ग्वादर में एक राष्ट्रीय सभा का आयोजन किया था, जिसमें मुख्य चर्चा राजनीतिक कार्यकर्ताओं के गायब होने और उनकी संदिग्ध मौत को लेकर होनी थी। इस सभा के लिए लोग ग्वादर पहुंच रहे थे, जिसकी जानकारी BYC ने भी अपने सोशल मीडिया हैंडल्स के जरिए दी थी।

BYC ने लगाए गंभीर आरोप

BYC द्वारा किए गए दावों में बताया गया कि सुरक्षा बलों ने ग्वादर की ओर जाने वाली बसों और वाहनों पर गोलीबारी की और उनकी खिड़कियां तोड़ दी। आरोप यह भी लगाया गया कि सुरक्षाबलों ने कई निर्दोष लोगों को किडनैप कर लिया और मोबाइल नेटवर्क सर्विसेज तक को बाधित किया। इसके अलावा छापेमारी के जरिए भी रविवार को होने वाले विरोध प्रदर्शन को दबाने के प्रयास किए।

वहीं इस मामले में शहीद नवाब गौस बख्श रायसानी मेमोरियल अस्पताल के सीईओ सईद अहमद का कहना है कि फायरिंग में 14 लोग घायल हुए हैं और उनका अस्पताल में इलाज जारी है और उनमें से 5 की हालत गंभीर बताई जा रही है।

बलूचिस्तान सरकार ने झाड़ा पल्ला

इस मामले में बलूचिस्तान सरकार का कहना है कि मस्तंग में हुई गोलीबारी की खबरें अफवाह हैं। सरकार के प्रवक्ता द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक फायरिंग की सारी खबरें अफवाह हैं और सुरक्षाबलों द्वारा गोलीबारी की रिपोर्ट की पुष्टि नहीं हुई है। बलूचिस्तान में कानून और व्यवस्था की स्थिति को जानबूझकर खराब करने के प्रयास जारी है। इस बयान में यह भी कहा गया कि है विरोध प्रदर्शन शांतिपूर्ण हो तो सरकार को कोई गुरेज नहीं है।

सरकार के प्रवक्ता ने कहा है कि कानून से कोई भी ऊपर नहीं है, हालांकि कानून को किसी को हाथ में नहीं ही लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि बीवाईसी के साथ मुद्दों को हल करने के लिए बातचीत चल रही है। सरकार ने उनके शांतिपूर्ण प्रदर्शन के अधिकार को मान्यता भी दी है।