अमेरिका में 5 नवंबर को होने वाले राष्ट्रपति चुनाव से पहले पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा की पत्नी मिशेल ओबामा ने पुरुषों से कमला हैरिस का समर्थन करने की अपील की जिससे वह देश की पहली महिला राष्ट्रपति बन सकें। राष्ट्रपति पद के चुनाव के लिए डेमोक्रेटिक पार्टी की उम्मीदवार कमला हैरिस के समर्थन में मिशिगन में शनिवार को एक रैली में मिशेल ओबामा ने कहा कि अगर डोनाल्ड ट्रंप दोबारा राष्ट्रपति बनते हैं तो महिलाओं की जान खतरे में पड़ जाएगी।
अमेरिका की पूर्व प्रथम महिला ने गर्भपात के संवैधानिक अधिकारों को खत्म करने के मुद्दे का जिक्र करते हुए कहा कि यह महिलाओं के स्वास्थ्य से खिलवाड़ है। मिशेल ओबामा ने कहा कि कुछ पुरुष विकास की धीमी गति के कारण गुस्से में ट्रंप को मतदान कर सकते हैं, लेकिन आपके इस गुस्से का असर बाकी चीजों पर पड़ेगा। उन्होंने कहा, ‘‘अगर आप इस चुनाव में सही व्यक्ति को नहीं चुनते हैं तो आपके गुस्से का खामियाजा आपकी पत्नी, आपकी बेटी, आपकी मां और हम महिलाओं को भुगतना पड़ेगा।’’
कमला हैरिस आप सबको समझ सकती हैं- मिशेल ओबामा
मिशेल ओबामा ने कहा, ‘‘हर पैमाने पर उन्होंने (कमला) ने यह साबित किया है कि वह तैयार हैं। असली सवाल यह है कि एक देश के रूप में क्या हम इस पल के लिए तैयार हैं?’’ ओबामा ने कहा, ‘‘इस झूठ पर विश्वास मत कीजिए कि हम नहीं जानते कि कमला कौन हैं या वह किन अहम मुद्दों पर चुनाव लड़ रही हैं। वह एक ऐसी महिला हैं जो आप सबको समझ सकती हैं।’’
अमेरिका में अवैध रूप से रह कर काम कर रहे थे एलन मस्क, रिपोर्ट में दावा
मिशेल ओबामा के बाद कमला हैरिस ने लोगों को संबोधित किया और वादा किया कि वह उनके हितों का ध्यान रखेंगी। उन्होंने ट्रंप पर केवल खुद के बारे में सोचने का आरोप लगाया। हैरिस ने कहा, ‘‘हमारे देश में एक ऐसे राष्ट्रपति की चाहत है जो लोगों के बारे में सोचे, उनको समझे और उनके अधिकारों के लिए लड़े।’’
ट्रंप के समर्थन में एलन मस्क
वहीं, टेस्ला के मालिक एलन मस्क ने अमेरिका के राष्ट्रपति पद के चुनाव में रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप का समर्थन करते हुए कहा कि जो लोग पूर्व राष्ट्रपति को लोकतंत्र के लिए खतरा बताते हैं, वे खुद लोकतंत्र के लिए खतरा हैं। मस्क ने शनिवार रात पेंसिल्वेनिया में एक ‘टाउन हॉल’ को संबोधित करते हुए अमेरिका के संसदीय परिसर ‘यूएस कैपिटल’ में 6 जनवरी, 2021 को हुए दंगों के संदर्भ में कहा कि इस घटना को एक तरह का हिंसक विद्रोह कहा गया जबकि वास्तव में ऐसा नहीं है। उन्होंने कहा कि ट्रंप ने वास्तव में लोगों से हिंसक नहीं होने के लिए कहा था और उन्होंने उनसे शांतिपूर्ण और देशभक्तिपूर्ण तरीके से विरोध प्रदर्शन करने को’ कहा था।
(इनपुट- एपी)