महाभारत काल में महात्मा विदुर महान दार्शनिकों, नीतिज्ञों और विद्वानों में से एक थे। उनके द्वारा बताई गई नीतियों का आज के समय में भी काफी महत्व देखा जाता है। महात्मा विदुर ने व्यक्ति के दुख के कारणों के बारे में बताया है। जानिए कैसे लोग अपने जीवन में हमेशा दुखी रहते हैं…

– जो व्यक्ति आलसी होते हैं वह दूसरों के सहारे अपना जीवन जीते रहते हैं। ऐसे लोग अपने हर एक कार्य के लिए दूसरों पर निर्भर रहते हैं। यही आगे चलकर इनके दुखों का कारण भी बनता है।

– शक करने वाला इंसान हमेशा दुखी रहता है। बहुत से लोग ऐसे होते हैं जो हर किसी को शक की नजरों से देखते हैं। इन लोगों को आसानी से किसी पर विश्वास नहीं हो पाता है जिस कारण ये लोग काफी दुखी रहते हैं। इन्हें जीवन में चाहे कितना भी प्यार क्यों ना मिल जाए तब भी यह लोग बेचैन नजर आते हैं।

– असंतुष्ट रहने वाला व्यक्ति कभी सुखी नहीं रह सकता है। शास्त्रों में भी यह बात कही गई है कि मनुष्य को अपनी हर चीज से संतुष्ट रहना चाहिए। लेकिन ऐसे बहुत से व्यक्ति होते हैं जो अपने जीवन में कभी संतुष्ट नहीं होते हैं। इसी कारण से यह लोग हमेशा दुखी रहते हैं।

– जो व्यक्ति हर किसी से नफरत की भावना अपने मन में रखता हो ऐसा इंसान अपने जीवन में कभी सुखी नहीं रह सकता है। साथ ही ऐसे व्यक्ति को कोई भी पसंद नहीं करता।

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– किसी से ईर्ष्या करना दुख का सबसे बड़ा कारण होता है। जो लोग दूसरे लोगों की खुशी को देखकर जलते हैं ऐसे लोग अपने जीवन में कभी  सुख का अनुभव नहीं कर पाते हैं।

– गुस्सा मानव का स्वभाव होता है लेकिन हर बात पर क्रोधित होने वाले लोग कभी खुश नहीं रह सकते हैं। ना ही किसी व्यक्ति को इन लोगों का साथ पसंद आता है।

– अस्वस्थ व्यक्ति हमेशा दुखी रहता है। जिस मनुष्य को तमाम तरह के रोग घेरे रहते हैं वो चाहकर भी अपने जीवन में सुखी नहीं रह पाता है। इसलिए शरीर का स्वस्थ होना बहुत जरूरी होता है।