Imli Ke Fayde: सर्दियों के मौसम में हार्ट अटैक का खतरा अधिक बढ़ जाता है। इसका एक सबसे बड़ा कारण लाइफस्टाइल और खराब खानपान है। दरअसल, सर्दियों के मौसम में हार्ट और ब्लड वेसल्स पर ज्यादा प्रभाव पड़ता है। सर्दियों के मौसम में हार्ट से संबंधी बीमारियों से पीड़ित मरीजों को अपना खास ख्याल रखना पड़ता है। सर्दियों में मेटाबॉलिज्म और इम्यूनिटी कमजोर होने लगती है और फिजिकल एक्टिविटी भी लगभग कम हो जाती है। ऐसी स्थिति में शरीर में कोलेस्ट्रॉल का लेवल बढ़ जाता है, जिससे सीधा प्रभाव हार्ट पर पड़ता है और शरीर कई बीमारियों के चपेट में आ जाता है।

हार्ट डिजीज होने पर लक्षण

  • सीने में दर्द जैसा महसूस होना
  • सांस लेने में कठिनाई
  • ठंडे पसीने का आना
  • कमजोरी या थकान
  • बेहोशी या चक्कर आना
  • पेट में दर्द और जबड़े गर्दन में अधिक दर्द होना

उत्तर प्रदेश के हरदोई में स्थित शतायु आयुर्वेद एवं पंचकर्म केंद्र के प्रमुख डॉक्टर अमित कुमार ने हार्ट अटैक के खतरे को कम करने के लिए इमली को लाभकारी बताया है।  डॉ. अमित कुमार के मुताबिक, इमली में कोलेस्ट्रॉल को घटाने वाले गुण होते हैं। इमली में एंटीऑक्सीडेंट्स और फ्लेवोनोइड्स इम्यूनिटी को बूस्ट करते हैं और यह एंटीऑक्सीडेंट्स फ्री रेडिकल्स से लड़ते हैं।

दिल की हेल्थ के लिए अच्छी

इमली में फ्लेवोनोइड्स होते हैं, जो बैड कोलेस्ट्रॉल को कम करने में लाभकारी होते है। इससे नसें साफ रहती हैं और ब्लड सर्कुलेशन अच्छा बना रहता है। इससे हार्ट अटैक का खतरा कम हो जाता है। इसके अलावा इमली सूजन, पाचन और इम्यूनिटी बूस्टर के रूप में भी काम करती है।

चीफ इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजिस्ट, डॉ. रोहित चोपड़ा के मुताबिक, ठंड में पसीना नहीं आता है, जिसकी वजह से शरीर से नमक बाहर नहीं निकल पाता है। ऐसे खून गाढ़ा होने की वजह से ब्लड प्रेशर भी बढ़ जाता है और अधिक ठंड पड़ने पर दिल की धमनियां सिकुड़ने लगती हैं। ब्लड प्रेशर बढ़ने लगता है, जिसकी वजह से हार्ट अटैक का जोखिम बढ़ जाता है।

कैसे करें बचाव

  • बॉडी को गर्म कपड़ों से ढककर रखें
  • फिजिकल एक्टिविटी करें
  • स्वस्थ आहार लें और ज्यादा फैट फूड्स से बचें
  • तनाव को कम करें

कैसे करें इमली का सेवन?

इमली का सेवन कई तरह जैसे चटनी, पानी या सूप के रूप में किया जा सकता है। इसके अलावा इसे सीधे भी खा सकते हैं। हालांकि, इमली का ज्यादा सेवन नहीं करना चाहिए।

आज के युवा खराब डाइट ले रहे हैं, तनाव में है, बॉडी एक्टिविटी में कमी है और ओवर वेट हैं तो हार्ट में ब्लॉकेज का खतरा बढ़ने लगता है। 50 फीसदी ब्लॉकेज के बाद हार्ट अटैक का रिस्क बढ़ने लगता है।