Hypertension Causes: हाइपरटेंशन यानी हाई ब्लड प्रेशर को साइलेंट किलर भी कहा जाता है क्योंकि ये शरीर को जल्दी कोई चेतावनी संकेत नहीं दे पाता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ मानते हैं कि लोगों को उच्च रक्तचाप का पता तब ही चलता है जब मामला गंभीर हो जाता है। कई बार हाई बीपी के अनदेखा होने से हार्ट अटैक और स्ट्रोक का खतरा बढ़ता है। वहीं, कुछ लोगों में हाइपरटेंशन के हल्के-फुल्के लक्षण आम हैं। एक्सपर्ट्स के मुताबिक उच्च रक्तचाप की पहचान अगर समय पर हो जाती है तो शरीर के दूसरे हिस्से जैसे कि मस्तिष्क, हृदय, किडनी और आंखें प्रभावित होने से बच जाती हैं।

किन कारणों से बढ़ जाता है ब्लड प्रेशर: हेल्थ एक्सपर्ट्स बताते हैं कि हाइपरटेंशन की परेशानी उन लोगों में ज्यादा देखने को मिलती है जो तनाव ज्यादा लेते हैं या फिर जिनकी लाइफस्टाइल खराब हो। इसके अलावा ब्लड प्रेशर लेवल को उम्र और फैमिली हिस्ट्री भी प्रभावित करता है। वहीं, कोरोना काल में वर्क फ्रॉम होम, स्ट्रेस और जॉब की इनसेक्योरिटी भी लोगों को हाइपरटेंशन की बीमारी दे सकती है। हालांकि, इस बीमारी के लक्षणों को समझकर और उचित इलाज के जरिये रक्तचाप के स्तर को नियंत्रित रखा जा सकता है।

पहचानें हाई बीपी के लक्षण: हाई ब्लड प्रेशर के प्रमुख लक्षणों को जानना वयस्कों के लिए बेहद जरूरी है। एक्सपर्ट्स के अनुसार लगातार सिर दर्द बना रहे, नजरों में धुंधलापन, वोमिटिंग, सिर भारी लगना, असुविधा होना उच्च रक्तचाप का लक्षण है। इसके अलावा, रक्तचाप के मरीजों को हृदय गति के अनियमित होने, भ्रम की स्थिति, छाती में दर्द, सांस संबंधी दिक्कतें, नाक से खून निकलने जैसी परेशानियां भी हो सकती हैं।

किन बातों का रखें ध्यान: विशेषज्ञों का मानना है कि हेल्दी लाइफस्टाइल फॉलो करने से हाइपरटेंशन का इलाज किया जा सकता है। इससे ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने में मदद मिलती है। नियमित रूप से एक्सरसाइज करने से रक्तचाप को नियंत्रित किया जा सकता है। वॉकिंग, जॉगिंग, एरोबिक्स और जिमिंग रोजाना आधा घंटे करें। कहा जाता है कि रोज 30 मिनट तक एक्सरसाइज करने से ब्लड प्रेशर 5 से 8 mm Hg तक कम हो सकता है।

इसके अलावा, सोडियम इनटेक कम करें। दिन भर में 2.3 ग्राम से ज्यादा नमक न खाएं। वजन घटाएं क्योंकि वेट लॉस बीपी लेवल कंट्रोल करता है। हेल्दी फूड्स खाएं जिसमें साबुत अनाज, फल और सब्जियां शामिल हैं। एल्कोहल और तंबाकू के सेवन से परहेज करें।