कब्ज एक ऐसी परेशानी है जिसके लिए खराब डाइट, बिगड़ता लाइफस्टाइल, तनाव और कुछ दवाओं का सेवन जिम्मेदार है। खराब डाइट की बात करें तो पानी का कम सेवन करना, डाइट में फाइबर का सेवन कम करना, डाइट में प्रसंस्कृत फूड्स, तले हुए या चिकने खाद्य पदार्थ, अत्यधिक डेयरी उत्पाद और अधिक नमक वाले स्नैक्स का सेवन और डेयरी प्रोडक्ट का सेवन जिम्मेदार है। आयुर्वेदिक एक्सपर्ट डॉक्टर सुभाष गोयल ने बताया अगर आपको कब्ज से परेशानी है तो आपको डाइट में राजमा,चावल,आलू,अरबी,भिंडी का सेवन नहीं करना चाहिए। ये बादी चीजें हैं जो वात दोष को बढ़ाती है। अगर आप इन चीजों का सेवन करना चाहते हैं तो कम सेवन करें और दिन में ही उन्हें खाएं।

राजमा और चावल फाइबर युक्त भोजन है जो कुछ लोगों के पाचन में सहायक करता है लेकिन कुछ लोगों के लिए कब्ज का कारण भी बनता है, खासकर अगर इसे ठीक से न पकाया जाए या अधिक मात्रा में खाया जाए। अगर आप कब्ज से परेशान रहते हैं तो इन 5 फूड्स से रोज परहेज करें और डाइट में कुछ खास चीजों का सेवन करें। कुछ हर्ब्स और फूड ऐसे हैं जो आसानी से कब्ज का इलाज करते हैं और बॉडी को हेल्दी रखते हैं। आइए जानते हैं कि कब्ज को दूर करने के लिए कौन से फूड्स का सेवन असरदार साबित होता है।

रात में त्रिफला चूर्ण का करें सेवन

अगर आप कब्ज से परेशान है तो रात को 1 चम्मच त्रिफला चूर्ण गुनगुने पानी के साथ सेवन करें। त्रिफला चूर्ण का सेवन करने से कब्ज का इलाज होता है, पेट से लेकर आंतों तक की सफाई होती है। त्रिफला एक आयुर्वेदिक हर्बल पाउडर है जो तीन फलों हरड़, बहेड़ा और आंवला का मिश्रण है। ये तीनों पाचन तंत्र को दुरुस्त रखने में मदद करते हैं। रात में त्रिफला चूर्ण का सेवन करने से कब्ज का इलाज होता है और पाचन दुरुस्त रहता है। त्रिफला पाचन अग्नि को संतुलित करता है, जिससे खाना अच्छे से पचता है और पेट साफ होता है। इसका सेवन करने से आंतों की सफाई होती है,पेट और आंतों में जमा गंदगी साफ होती है। त्रिफला में हल्का रेचक प्रभाव होता है जो बिना दस्त के मल त्याग को आसान बना देता है। इसका सेवन करने से गैस, एसिडिटी और ब्लोटिंग से राहत मिलती है। रात में इसे खाकर सोएंगे तो सुबह उठते ही पेट साफ हो जाएगा।

खाने में सलाद, फल और फाइबर को शामिल करें

कब्ज से राहत पाने के लिए डाइट में रेशेदार चीज़ों का सेवन करें। डाइट में हरी सब्जियां, ताजे फल और सलाद का सेवन करें इसमें मौजूद फाइबर पाचन क्रिया को बेहतर बनाता हैं। फाइबर मल को नरम बनाता है और आंतों की गति को बढ़ाता है, जिससे मल त्याग आसान हो जाता है।

 रोज़ाना कम से कम 30 मिनट वॉक करें

शारीरिक गतिविधि पाचन प्रणाली को एक्टिव बनाती है। रोज़ाना 30 मिनट की वॉक करने से आंतों की मूवमेंट सुधरती है जिससे कब्ज की समस्या कम होती है। वॉक करने से गैस, ब्लोटिंग और अपच जैसी समस्याएं भी कम होती हैं और पेट हल्का महसूस होता है।

पपीता, इसबगोल और अंजीर का करें सेवन

पपीता एंजाइम से भरपूर होता है, जो पाचन में मदद करता है। इसबगोल प्राकृतिक फाइबर है जो मल को ढीला करता है। अंजीर में घुलनशील फाइबर और प्राकृतिक मिठास होती है, जो आंतों को साफ करता है। इनका नियमित सेवन कब्ज में काफी राहत देता है।

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