बॉडी में यूरिक एसिड का स्तर बढ़ने से गाउट और अर्थराइटिस नामक बीमारी होती है। यूरिक एसिड एक तरह का केमिकल है, जो शरीर में प्यूरीन नामक प्रोटीन के ब्रेकडाउन से बनता है। वैसे तो अधिकतर यूरिक एसिड किडनी द्वारा फिल्टर होने के बाद शरीर से फ्लश आउट हो जाता है, लेकिन जब खून में इसकी मात्रा बढ़ने लगती है तो यह क्रिस्टल्स के रूप में टूटकर हड्डियों के बीच इक्ट्ठा होने लगता है। इसके कारण जोड़ों में दर्द, सूजन और लालिमा की समस्या भी होने लगती है।

इसके अलावा हाई यूरिक एसिड के मरीजों को हार्ट अटैक, ब्रेन स्ट्रोक, किडनी फेलियर और मल्टीपल ऑर्गन फेलियर की संभावना बढ़ जाती है। वैसे तो शरीर में यूरिक एसिड का निर्माण कई कारणों से होता है, लेकिन आहार इसमें एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। कुछ खाद्य पदार्थों के नियमित सेवन से यूरिक एसिड का स्तर अचानक बढ़ सकता है। इसी तरह कुछ चीजें ऐसी हैं, जिनके सेवन से यूरिक एसिड के बिल्डअप को रोकने में मदद मिलती है।

2010 में नर्सिज हेल्थ स्टडी के अनुसार, अधिक कॉफी पीने वाले लोगों में गाउट विकसित होने का जोखिम कम होता है। यह अध्ययन कुछ महिलाओं पर किया गया, जिसमें यह बात सामने आई कि जो महिला एक दिन में तीन कप कॉफी का सेवन करती हैं, उन्हें गाउट की बीमारी होने का खतरा 22 प्रतिशत कम रहता है। वहीं जो लोग 4 कप कॉफी का सेवन करते हैं, उनमें 57 प्रतिशत जोखिम कम होता है। एक्सपर्ट्स की मानें तो कॉफी यूरिक एसिड के खतरे को कम करती है।

कॉफी में एक एंजाइम होता है जो शरीर में प्यूरीन को तोड़ता है जिससे यूरिक एसिड बनने की गति कम हो जाती है। हालांकि एक्सपर्ट्स बताते हैं कि कॉफी में कैफीन की मात्रा यूरिक एसिड के स्तर को कम करने में कोई भूमिका नहीं निभाती बल्कि इसमें अन्य यौगिक होते हैं, जो यूरिक एसिड को नियंत्रित रखते हैं।

2014 में तीसरे राष्ट्रीय स्वास्थ्य और पोषण परीक्षा सर्वेक्षण के एक अध्ययन के अनुसार, चाय का सेवन यूरिक एसिड के प्रबंधन से नहीं जुड़ा है। ऐसे में हाई यूरिक एसिड के मरीजों को केवल कॉफी का ही सेवन करना चाहिए।