बॉलीवुड के दिग्गज एक्टर नसीरुद्दीन शाह अपनी बेहतरीन एक्टिंग के लिए जाने जाते हैं। एक्टर ने एक से बढ़कर एक फिल्मों में काम करके अपने अभिनय की छाप छोड़ी है। एक्टर अपनी फिल्मों के अलावा अपने बयानों को लेकर भी खूब चर्चा में रहते हैं।

वह लगभग हर मुद्दे पर अपनी राय रखते नजर आते हैं। इन दिनों अभिनेता लगातार सुर्खियों में बने हुए हैं। इसका कारण उनकी कोई फिल्म नहीं बल्कि उनके बयान हैं। वह हर दिन कुछ न कुछ नए बयान दे रहे हैं, कभी देश के मुस्लिमों को लेकर तो कभी फिल्म द केरल स्टोरी पर।

अब एक बार फिर से अभिनेता ने नए संसद के उद्घाटन समारोह पर तंज कसा है। एक्टर ने कहा है कि देश के सर्वोच्च नेता अपने लिए स्मारक बनाना चाहते थे। हालांकि उन्होंने नए संसद भवन को समय की मांग बताया है, लेकिन इनको उद्घाटन को लेकर पीएम मोदी को घेरा है।

नसीरुद्दीन शाह ने नए संसद भवन के उद्घाटन पर कसा तंज

नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह पर तंज कसते हुए नसीरुद्दीन शाह ने कहा कि ‘पुराने संसद भवन की इमारत 100 साल पुरानी थी, इसलिए एक नई बिल्डिंग की जरूरत थी, लेकिन क्या ऐसे उद्घाटन समारोह की जरूरत थी? उन्होंने आगे कहा कि आप हर चीज में धार्मिक पहलुओं को शामिल कर रहे हैं। आप इस तरह से पुजारियों से घिरे होकर आते हैं जैसे कि यह इंग्लैंड का राजा है जो कि बिशपों से घिरा है। आप राजदंड लेकर आते हैं। भव्यता के भ्रम की एक सीमा होनी चाहिए। और मुझे लगता है कि इसका खामियाजा हम भुगत रहे हैं। एक्टर ने आगे कहा कि नया संसद भवन हमारे लोकतंत्र का प्रतीक है और आशा है कि यह हमारे लोकतंत्र को संरक्षित करने में सफल होगा।’

उद्घाटन समारोह को बताया मोदी सरकार का कार्ड

वहीं इंडियन एक्सप्रेस को दिए इंटरव्यू में कहा कि ‘मोदी सरकार द्वारा नए संसद भवन का उद्घाटन एक बहुत ही चालाकी से घेला गया कार्ड है। इस कार्ड ने अपना काम किया है। देखते आखिर यह कब तक काम करना जारी रखता है। बता दें कि कांग्रेस सहित 19 विपक्षी दलों ने उद्घाटन समारोह का विरोध किया था और कार्यक्रम में शामिल नहीं हुए थे।’