प्रभास और कृति सेनन अभिनीत फिल्म ‘आदिपुरुष’ 16 जून को सिनेमाघरों में रिलीज हुई थी। 600 करोड़ में बनी इस फिल्म ने लागत की आधा भी वसूलने में कामयाब नहीं हुई। फिल्म में दिखाए किरदार और डायलॉग्स विवाद का कारण बने।
विवादों के बाद फिल्म के संवाद में बदलाव किया गया, लेकिन तब भी बात नहीं बनी। फिल्म बम्पर ओपनिंग तो मिली लेकिन फिल्म धीरे धीरे नीचे गिरती गई और फिल्म के निर्माता ओम राउत की फिल्म को भारी नुकसान उठाना पड़ा।
फिल्म सोशल मीडिया पर काफी चर्चा में रही और लोगों न इस पर खूब भड़ास निकाली। मामला बढ़ता देखकर सुप्रीम कोर्ट को भी इस में हस्तक्षेप करना पड़ा। वहीं अब फिल्ममेकर विवेक रंजन अग्निहोत्री ने बताया है कि आखिर आदिपुरूष फ्लॉप क्यों हुई। फिल्म के निर्माताओं से कहां गलती हुई है।
विवेक अग्निहोत्री ने कही यह बात
विवेक अग्निहोत्री ने हाल ही में ई-टाइम्स से बातचीत में बताया कि “जब आप कुछ ऐसा बनाते हैं जिस पर आप खुद विश्वास नहीं करते हैं लेकिन सिर्फ इसलिए बना रहे हैं कि आजकल ये चल रहा है, तो आप निश्चित रूप से गलत हो साबित हो जाएंगे। जब आप आस्था की कहानियां चुनते हैं, तो या तो आपको खुद 100% दृढ़ विश्वास होना चाहिए या आपको एक इतिहासकार की तरह विषय में अच्छी तरह से वाकिफ होना चाहिए, लेकिन दुर्भाग्य से, भारत में कोई भी ऐसा नहीं करता है।”
रामायण और महाभारत वर्षों से लोगों के जहन में बसे हुए हैं
महाभारत और रामायण के लिए जो भी एक्टर और एक्ट्रेस को लेगा, वह इसे पूरा नहीं कर पाएगा। अगर वे इसे पूरा करने में कामयाब भी हो जाते हैं, तो भी उन्हें ऐसा ही हश्र देखने को मिलेगा। कोई तो कारण है कि महाभारत, भगवद गीता और रामायण वर्षों से हर किसी के जहन में बसे हुए हैं। अगर कोई चीज़ 5000 वर्षों तक चली है, तो इसका कोई कारण होगा।”
लोग मूर्ख नहीं
विवेक अग्निहोत्री ने आगे कहा कि “अगर कोई स्क्रीन पर आता है और कहता है, हे मैं भगवान हूं, तो यह आपको भगवान नहीं बनाता है। अगर आपको हर रात दारू पीकर घर आ रहे हो तो आप अगले दिन वापस आकर यह नहीं कह सकते हैं कि मैं भगवान हूं, मेरा विश्वास करो। कोई भी इस पर विश्वास नहीं करेगा। लोग बेवकूफ नहीं हैं।”