प्रख्यात लोक गायिका और पद्मश्री से सम्मानित मालिनी अवस्थी सोशल मीडिया पर खूब एक्टिव रहती हैं और तमाम समसामयिक मुद्दों पर अपनी राय रखती रहती हैं। हाल ही में सावन के पहले सोमवार पर वो काशी विश्वनाथ मंदिर पहुंची थीं। यहां उन्होंने बाबा विश्वनाथ के दर्शन किए और कुछ तस्वीरें अपने सोशल मीडिया पर शेयर कीं। हालांकि उनकी तस्वीरों पर विवाद खड़ा हो गया। पूर्व IPS अमिताभ ठाकुर ने आरोप लगाया कि मालिनी अवस्थी ने जिस जगह ये तस्वीरें खिंचाईं वहां मोबाइल आदि कोई इलेक्ट्रॉनिक उपकरण नहीं ले जाया जा सकता है।

क्या है पूरा मामला? मालिनी अवस्थी ने अपनी तस्वीरें शेयर करते हुए लिखा था, ‘सावन के प्रथम सोमवार आज बाबा विश्वनाथ जी के दर्शन का सौभाग्य पाया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी, काशी विश्वनाथ का कायाकल्प अभिभूत करने वाला है और यह सिर्फ आपकी वजह से संभव हो पाया है। आज बाबा के स्वर्णशिखर के दर्शन संभव हैं, पहले कुछ भी नहीं दिखता था। बहुत आभार आपको।’

उनकी इसी पोस्ट पर पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर ने सवाल उठाते हुए जांच की मांग की है। अमिताभ ठाकुर लिखते हैं, ‘दी जानकारी के अनुसार UP ACS होम अवनीश अवस्थी की पत्नी मालिनी अवस्थी ने जिस स्थान पर ये फोटो खींचा व डाला है वहां कोई भी इलेक्ट्रॉनिक उपकरण नहीं लाया जा सकता। इससे पहले कई सुरक्षा पॉइंट व मेटल डिटेक्टर हैं। अतिसंवेदनशील, सत्यापन, विधिक कार्यवाही।’

अमिताभ ठाकुर के ट्वीट पर लोगों की अलग-अलग प्रतिक्रिया भी आ रही है। यूजर आशुतोष यादव लिखते हैं, ‘कानून सबके लिए एक है। इन्होंने उल्लंघन किया है तो इनके ऊपर कार्रवाई होनी चाहिए। कानून से बड़ा कोई नहीं होता। कार्रवाई नहीं होने पर, अमिताभ सर आप कोर्ट का रुख कर सकते हैं।’ अजय कुमार मौर्या नाम के ट्विटर यूजर लिखते हैं, ‘वीआईपी लोगो के लिए कौन सा नियम कानून होता है? कानून की बात तो सामान्य जनता से ही की जाती है।’

यूजर आशुतोष मिश्रा लिखते हैं, ‘वैसे आप अगर लोगों को परिचय न भी देते तो चलता क्योंकि ‘पद्मश्री मालिनी जी’ की अपनी स्वतंत्र पहचान है और इस तरह से उनके पति को बीच में लाना समझ नही आता है।’ आलोक शाह नाम के ट्विटर यूजर लिखते हैं, ‘सही बात है मंदिर प्रांगण में मोबाइल यहां तक कि एक साधारण पेन भी ले जाना मना है। बिना इन चीजों को जमा किए चेक पॉइंट से आगे जा ही नहीं सकते हैं।’

सीएम योगी पर भी उठाए थे सवाल: ये कोई पहली बार नहीं है जब अमिताभ ठाकुर ने ऐसा पोस्ट किया है। इससे पहले उन्होंने सीएम योगी आदित्यनाथ को लेकर भी एक ट्वीट किया था। इसमें अमिताभ ठाकुर ने लिखा था, ‘योगी आदित्यनाथ मुझसे यूं ही नाराज़ नहीं हैं। 2007 में उनके संसद में रुदन कांड के समय मैं SP महाराजगंज था जब मैंने शासन के आदेश से उनके खिलाफ पचरुखिया मर्डर केस में जांच शुरू की थी, जिसमे उनके खिलाफ ठोस प्रमाण थे। मेरा ट्रान्सफर हुआ और उसके साथ ही जांच बंद।’