बॉलीवुड के मशहूर एक्टर धर्मेंद्र ने अपनी फिल्मों और अपनी सादगी से हिंदी सिनेमा में जबरदस्त पहचान बनाई है। उन्होंने अपनी एक्टिंग के सबका दिल तो जीता ही है, साथ ही अपने अंदाज को लेकर भी हमेशा चर्चा में बने रहते हैं। 85 वर्ष के होने के बाद भी धर्मेंद्र में अपने काम को लेकर वही जज्बा है। इससे इतर अपने एक इंटरव्यू में धर्मेंद्र ने इस बात को लेकर खुलासा किया था कि उन्होंने 60 वर्ष की उम्र के बाद से ही अपनी उम्र को गिनना छोड़ दिया था। इतना ही नहीं, एक्टर ने यह भी बताया था कि वह अपने जन्मदिन पर मां को याद कर अकेले में रोते हैं।
बॉम्बे टाइम्स को दिए इंटरव्यू में धर्मेंद्र ने बताया था कि अपनी मां के निधन के बाद से ही उन्होंने जन्मदिन मनाना बंद कर दिया था। उन्होंने कहा था कि वह जन्मदिन पर कुछ रीति-रिवाजों को निभाते हैं और अकेले में मां को याद कर रोते हैं।
धर्मेंद्र ने इस बारे में बात करते हुए कहा, “मां भगवान होती है, जब खुशी देने वाली नहीं रही तो कैसे मनाऊं जन्मदिन? बस रस्में निभा लेता हूं और तन्हाई में मां को याद करके रो लेता हूं। वो जब थीं तब मेरे जन्मदिन पर हलवा बनाया करती थीं।” दूसरी ओर हिंदुस्तान टाइम्स को दिए इंटरव्यू में धर्मेंद्र ने बताया कि वह कभी भी बूढ़ा महसूस नहीं करते हैं।
इस बारे में बात करते हुए धर्मेंद्र ने कहा, “जब मैं 60 वर्ष का हो गया तो उसके बाद से ही मैंने अपनी उम्र गिननी छोड़ दी। यह कोई मायने नहीं रखता है कि आपकी उम्र क्या है, आपको अपना उत्साह हर वक्त जीवित रखना चाहिए। मैं हर उस चीज के लिए एक्साइटेड रहता हूं, जो छोटी से छोटी चीज जिंदगी मुझे देती है।”
धर्मेंद्र ने इसके साथ ही अपने एक्टर बनने के बारे में भी बातचीत की। उन्होंने कहा, “मैं इस चीज को लेकर हमेशा उत्साहित रहता था कि एक एक्टर होने के तौर पर मुझे अगली चीज क्या करनी है। कैमरा मुझसे बहुत प्यार करता है और जब भी मैं इसके सामने आता हूं, मैं अलग ही इंसान बन जाता हूं।”
इससे इतर अपने एक इंटरव्यू में धर्मेंद्र ने बताया था कि उनके एक्टर बनने के बाद उनकी मां खुश नहीं थीं। धर्मेंद्र के एक्टर बनने के बाद उनकी मां ने यह तक कह दिया था कि भगवान न करे, किसी का बेटा कभी एक्टर बने। बता दें कि एक्टर अकसर अपनी मां की तस्वीर साझा कर उन्हें याद करते हुए नजर आते हैं।