उत्तर प्रदेश चुनाव को लेकर सियासी बयानबाजी का दौर जारी है। सभी दल विरोधियों पर हमले कर रहे हैं और उनको घेरने की कोशिश कर रहे हैं। बसपा प्रमुख मायावती ने भी इसी तरह का हमला सपा प्रमुख अखिलेश यादव पर बोला है। मायावती ने कहा कि यूपी में पूर्व की सपा सरकार ने एसटी-एसटी का सरकारी ठेकों में आरक्षण खत्म कर दिया और गुंडाराज फैलाया।
दरअसल, अखिलेश यादव ने एक सवाल के जवाब में कहा था, “मैंने हमेशा कहा है कि अंबेडकरवादियों को समाजवादियों के साथ आना चाहिए, क्योंकि हमें संविधान और लोकतंत्र को बचाना है। अगर लोकतंत्र और संविधान नहीं बचेगा तो सोचो हमारे अधिकारों का क्या होगा। मैं अपील करता हूं कि अम्बेडकरवादी आएं और हमारे साथ जुड़ें।”
अखिलेश यादव के इस बयान के बाद बसपा प्रमुख की तीखी प्रतिक्रिया आई है। मायावती ने कहा, “समाजवादी पार्टी आज जगह-जगह कहती है कि सर्वसमाज की पार्टी है और कमजोर वर्ग के लिए उस पार्टी ने काम किया है तो इसमें रत्ती भर भी सच्चाई नहीं है। सपा सरकार में कमजोर तबके की उपेक्षा हुई और इनके संतों, गुरुओं और महापुरुषों का भी अनादर हुआ है।”
मायावती ने समाजवादी पार्टी पर साधा निशाना: बसपा प्रमुख ने सपा पर निशाना साधते हुए कहा, “मैं बताना चाहती हूं कि जब सपा की सरकार सत्ता में थी, तब SC/ST का सरकारी ठेकों में आरक्षण खत्म कर दिया था, जबकि बीएसपी की सरकार ने एससी-एसटी के सरकारी ठेकों में आरक्षण की व्यवस्था की थी। लेकिन सपा ने सत्ता में आते ही इस व्यवस्था को खत्म कर दिया।”
मायावती ने कहा कि लखनऊ के गोमतीनगर में डॉ. भीमराव अंबेडकर पार्क, जिसे बीएसपी की सरकार में बनवाया गया था, उसका नाम बदलकर जनेश्वर मिश्र पार्क कर दिया गया। मायावती ने कहा कि ये सब समाजवादी पार्टी के कारनामे हैं। बसपा प्रमुख ने कहा कि सरकारी भूमि आवंटन में एससी-एसटी को मिलने वाली प्राथमिकता को खत्म कर दिया गया। मायावती ने कहा कि अखिलेश यादव और समाजवादी पार्टी की ऐसी सोच रही है।

